तुम फिर मुझे मेरी ही पहचान से अधूरा कर गए हो .... शिकायत नहीं कर रही मैं , लेकिन अधूरे पन का साथ अब और नहीं चाहती अब जब तुम शीत ऋतु में आना तो मेरे नाम से जुड़कर जाना..... तुम मेरी परछाई बनो यह अरमान है मेरे.... तेरा अधूरापन