लोग कहते हैं भगवान नहीं है मैं तो कहती हूं इंसान नहीं है खो गया इंसान महानगरों की चकाचौंध में इस भीड़ में और बेहिसाब शोर में सब भागते दिखते हैं पर जीतता नहीं कोई दौड़ में चलचित्र बनाते हैं छोड़कर मरते हुए को रोड़ पर छोटे निरीह बच्चे भी हो रहे शिकार ये क्यों हो रहा अत्याचार ओ मानव की शक्ल वाले दानव प्रलय अब दूर नहीं है धर्म की हानि बहुत हो गई अब तू लेता नहीं क्यों अब अवतार ।। #nojotohindi#kalakaksh#poetry#poem