कुछ चेहरे ऐसे है जो भुलाये नही जा सकते। कुछ राज ऐसे है जो छिपाये नही जा सकते।। कोई आखिर कैसे लगायेगा मरहम इन पर, कि ये ज़ख्म ऐसे है जो दिखाये नही जा सकते।। निसार मलिक