अलविदा ★★{{ सैनिक के अंतिम शब्द }}★★ अपने तन पर तिरंगा लपेटे हुए , सारे सपने पलको में समेटे हुए । अलविदा तुझको ए जाने वतन... हम चले तुझे सबकुछ लुटाते हुए ।१। नया कारवां तुझको सजाना पड़ेगा , प्रेम का वृक्ष तुझको लगाना पड़ेगा । हो मंजिलो पर कांटे फिर भी मग़र. अपना डगर तुझको बनाना पड़ेगा ।२। जीत का जश्न दिल से मनाना सभी , मौत पर मेरे न आंसू बहाना कभी । है शहादत भी इबादत की चाँदनी.. माँ है ये धरा न भूल जाना कभी ।३। कवि राहुल पाल #alvida ★★{{ सैनिक के अंतिम शब्द }}★★ अपने तन पर तिरंगा लपेटे हुए , सारे सपने पलको में समेटे हुए । अलविदा तुझको ए जाने वतन... हम चले तुझे सबकुछ लुटाते हुए ।१। नया कारवां तुझको सजाना पड़ेगा , प्रेम का वृक्ष तुझको लगाना पड़ेगा ।