part(2) तब उसने बालों में हाथ फेरते हुए कहां जी रघुनाथ मगर आप प्यार से रघु बुला सकती हैं। मैंने अपना सर हां मैं हिलाते हुए जी ठीक है काफी अच्छा नाम है आपका अब शाम हो चुकी थी हम घर के लिए निकल लिए मैं घर पहुंच गई थी और खाना खाकर सोने की तैयारी में थी। फिर मैं उसके बारे में सोचने लगी तो काफी अच्छा लग रहा था मगर मैंने खुद को संभालते हुए कहां अरे जाने दे वह काफी अच्छा लड़का है बस दोस्त रहेंगे हम। अब सुबह हो चुकी थी मैं तैयार होकर ऑफिस के लिए निकल गई ऑफिस पहुंचते ही मेरी नजर उसके कैबिन के तरफ गई वह अभी तक नहीं आया था। फिर थोड़ी देर बाद मुझे आवाज आई सोनिया क्या आप फ्री हैं देखा तो रघु था। हां बोलिए मैंने थोड़ा संभलते हुए कहां तब उसने कहा देखो मैं आपके लिए क्या लेकर आया हूं देखा तो गाजर का हलवा था। रघु बोला मुझे बहुत पसंद है अपने हाथों से बनाकर आपके लिए लाया हूं मना मत करना मैं मुस्कुराते हुए जी ठीक है धन्यवाद। अब मैं लंच का इंतजार कर रही थी। तभी वहां रघु आया और बोला चलो लंच करते हैं फिर हम लंच करने लगे और आज हमने काफी बातें की मैं पहली बार ऑफिस में ही खेल खिला रही थी पता नहीं क्यों उसकी बातों पर मुझे अच्छा लगता था। तुम फिर अपने कैबिन की ओर चल दिए तभी मैंने पीछे मुड़कर देखा तू मेरी तरफ ही देख रहा था मैं मुस्कुराते हुए अपने कैबिन में जाकर बैठ गई। जब मैं घर पहुंची तो मुझे यही सब बातें याद आ रही थी। लग रहा था जैसे मुझे प्यार हो गया है उसके बारे में सोचते सोचते कब आंख लग गई पता ही नहीं चला। जब मैं ऑफिस पहुंचे तो आज रघु पहले से ही मेरी टेबल पर बैठा था। थोड़ा परेशान सा था मैंने पूछा क्या हुआ रघु तब उसने बैठने का इशारा किया और बोला पहले बैठो तब बताऊंगा। मैं बैठ गई बोली बताओ क्या हुआ काफी परेशान लग रही हो आज रघु बोला कुछ नहीं तुम्हें कुछ बताना था। प्लीज गुस्सा मत करना मैं काफी पहले बता देना चाहता था। तभी उसके फोन पर फोन आया और वह 2 मिनट बैठो मैं आता हूं यह कहकर चला गया। मैं काफी देर बैठे रही लंच टाइम भी हो गया था मगर वह तक नहीं आया मुझे काफी घबराहट हो रही थी। रघु अभी तक नहीं आया था आखिर क्या था जो वह बताना चाहता था। please wait part(3) 2nd part in my story sakक्षी avaस्थी Shikha Sharma Inner Voice verma priya✍️ indira Innocent Girl😊😘 Innocent Girl 😊😊😊