बीते लम्हे... #कल_की_बात... आज केवल आज की बात... संभव ही नही... कल ही तो अपनी नींव था... बहुत कुछ अच्छा था उसमें... उसे दोहराने में कोई हर्ज नही... बुरा है तो छोड दो... अभी के अभी... 13/9/2022 मंगलवार (सर्वाधिकार सुरक्षित) ©सुधा भारद्वाज #कल_की_बात Dhyaan mira