नोटबंदी के 6 साल बाद सुप्रीम कोर्ट की पांच सदस्य बड़ी पीठ की ओर से सुनवाई किसी भी तर्क की कसौटी पर खरी नहीं उतरी एक ही तर्क समझ में आता है कि सुप्रीम कोर्ट सरकार के कार्य में हस्तक्षेप कर रहा है यह अकेला उदाहरण नहीं है तीन कृषि कानून मुख्य चुनाव आयुक्त की नियुक्ति और बहुत से मामले में सुप्रीम कोर्ट हस्तक्षेप कर चुका है सुप्रीम कोर्ट अत्यंत ही महत्वपूर्ण मामलों को डालकर इस अनावश्यक मामले की सुनवाई कर रहा है यदि सुनवाई करनी ही थी तो बहुत पहले करनी थी अब गड़े मुर्दे उखाड़ने से कोई लाभ नहीं होने वाला ©Ek villain #Dark #नोटबंदी पर अभी सुनवाई अनावश्यक