Home and Mother माँ तो होती है घर की जान, बिना उसके, हर परिवार, होता है बेजान। बलिदानों की मूरत होती है माँ, दुख के बदले सुख बांटती है, बिना कोई एहसान जता। घर परिवार के लिए, न्यौछावर करती है अपनी खुशियाँ, हमेशा मुस्कुराती रहती है, कभी नही करती अपना दुख बयां । घर परिवार के बारे में सोचकर, देती है पूरी ज़िन्दगी बिता, फिर बुढ़ापे में जब ढ़ूंडती है उन्हीं बच्चों को, मिलता नही उनका नामुनिशान । भगवान्! ऐसी दौलत, शौहरत, किसी को ना दे, जो फासले बढ़ा दे माँ और बच्चों में, उन्हें इतना व्यस्त कर दे, माँ के प्रति, प्यार और सम्मान को निकाल दे, उनके दिल से। #मा#घरकीजान😍