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मेरी गहराई का अनुमान मत लगाना कुछ नहीं पता कब । बू

मेरी गहराई का अनुमान मत लगाना
कुछ नहीं पता कब ।
बूंद से तालाब हो जाऊ..
आज लूट लो नजारा मेरी बर्बादी का
क्या पता कल कामायाब हो जाऊ।
                                               . कवि चंचल शर्मा #emptiness
मेरी गहराई का अनुमान मत लगाना
कुछ नहीं पता कब ।
बूंद से तालाब हो जाऊ..
आज लूट लो नजारा मेरी बर्बादी का
क्या पता कल कामायाब हो जाऊ।
                                               . कवि चंचल शर्मा #emptiness