इंतज़ार आज तक न जाने किसका है दिल का बेचैनिओं से ये कैसा रिश्ता है बस तुम उम्मीद दिला दो ,मुलाकात की फिर इन्तज़ार तो हम सारी उम्र कर लेंगे*** #इन्तज़ार