सांस और धड़कन सांस और धड़कन थम सी जाती है मेरी आज में कौन हूँ चहेरा दिखा जाती है मेरा इन चटानो पर तैरना मुझे बखूबी आता है सांसें थम सी जाती है धड़कनें रफ़्तार में आ जाती है,जब जब ऐसा मंजर मेरे सफर नामे मे आता है,मुझे अच्छा लगता है इन पहाडों की हर चुनोती को पार करना मुझे एक अच्छा अहसास सा लगता है सांस और धड़कन...... । usha.....✍ #dhadkan