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आग लगाना मेरी फितरत में नहीं अगर मेरी सादगी से लोग

आग लगाना मेरी फितरत में नहीं अगर मेरी सादगी से लोग जले तो इसमें मेरा क्या कसूर आग लगाना मेरी फितरत में नहीं अगर मेरी सादगी से लोग जले तो इसमें मेरा क्या कसूर .
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