हमारा कोई दोस्त, भाई या रिश्तेदार हो सकता है, जिसकी खुदकुशी का कारण भी कोई डरपोक विचार हो सकता है। क्योंकि, लोग अक्सर लम्बे सफ़र में ऊब जाते हैं, जहाँ से उभरना नामुमकिन हो, ऐसी गहराईओं में डूब जाते हैं। इसलिए जब लगे कि कोई मुसाफिर, थक गया हो या उदास हो, जिसे आत्मविश्वास की भूख हो या हौंसलों की प्यास हो, तो एक हाथ उसकी ओर बढ़ा देना, हो सकता है, उसे तुम्हारे सहारे की ही तलाश हो। by me... in india our education system is not good.. within two months there are three cases of suicide in IIT college...it is shameless for everyone...