कभी पढ़ा करता था तुझे, किताबों की तरह। आखिर तूने फेंक ही दिया पुराने लिबासों की तरह। ऐ तूफान जरा सा तू अपनी हद में रहा कर, कभी हम भी जला करते थे चरागों की तरह।। #Language_of_tears