#क्रप्या_इसे_पढ़े_और_अपनी_राय_दे_ऐसे_जिव_होते_है_या_नहीं ।
नोटः यह कहानी लोकस्मृति और कथाओं से प्रेरित है
जिसका लोग आज भी दावा करते है ।
एक समय की बात है जब रेगिस्तानी बीहड़ो में आबादी बहुत कम हुआ करती थी । वहाँ जंगली जीवो का डेरा हुआ करता था वोह भी र्रेगिस्तानी जिव जोह बहुत ही खूंखार प्रवर्ति के होते थे उन सबमे एक जिव जिसका नाम 'फेडिकाल' थोड़ा अजीब पर आज भी पच्चिमी राजस्थान के आम लोग इस नाम से अच्छी तरह से परिचित है ।अभी इन जीवो का कही पता नहीं है पर लोग कहते थे कि उनकी आवाज से ही लोगो की हालत खस #Books