तुमको देखकर गुलशन महकने लगा! तुमको सोचकर तन मन बहकने लगा!! कितनी खूबसूरत हो तुम खुदा की कसम! पाकर ख्वाब़ में दिल भी धड़कने लगा!! अविनाश मिश्र "अंजान"