वो नदियों का पानी वो शांत नज़ारा दौड़ भाग तो चलती रहेगी तुम तन को आराम दो ये मशीन नहीं जो थकेगी नहीं तुम थोड़ा विश्राम करो माना सपने बहुत है तुम्हारे वक्त कम पड़ जायेगा है बहुत स्पर्धा प्रतियोगिता बिन परिश्रम कुछ न पायेगा जब दिल, दिमाग, तन न होगा शान्त तो शान्ति चैन अमन कैसे पायेगा जो ये तन दिया है प्रकृति ने तुझे ढल के आया है लाखों बर्षों के विकास से लाख कोशिश करने पर भी से ढाल न पाओगे तुम उसी प्रकार से अत: इसका समुचित ध्यान रखो अस्वस्थ्यता,लापरवाही, खतरा बनसकते है बुध्दिमानी इसी में है...... सेहत के साथ न खिलवाड़ करो अपनी सेहत का तुम ध्यान रखो और रह कर स्वस्थ्य तुम भी जुड़ जाओ प्रकृति के विकास में पारुल शर्मा #NojotoQuote दौड़ भाग तो चलती रहेगी तुम तन को आराम दो ये मशीन नहीं जो थकेगी नहीं तुम थोड़ा विश्राम करो माना सपने बहुत है तुम्हारे वक्त कम पड़ जायेगा है बहुत स्पर्धा प्रतियोगिता बिन परिश्रम कुछ न पायेगा