रह ना जाए ....... कोई भी बहाना। कर के कुछ भी बस सत्ता में आना। टोपी या फिर ..... पहनाओ जनेऊ , सुबह नमाज़ी सांझ भष्म लगाना। छल से छलता ले नयनों में नीर वो। चलता पगडंडी खाता खीर जो। करता है वो जो बातें... .प्यार की, बोता है विष ही..... आठों याम वो। उसको फ़िक्र है बस अपने ताज की। करता ज़िक्र जो....... तेरे संताप की। फिसला बातों में ...आके आज जो, धुन फिर आयेगीं ...उसी विलाप की। बहकावे में जो .........आज आओगे। कल फिर तुम.... रोते नजर आओगे। बैठो चाहे जिस नाव में ..........जाके, हर नोका में ............ही छेद पाओगे। #nojotall #nojotohindi