मेरा शुक्राना
आज रूठी जिन्दगी को मेरा शुक्राना हुआ
पंरिदो के साथ मेरा आब-ओ-दाना हुआ
धङकनो ने मेरी अब खुद धङकना सिख लिया
और दिल मेरा बिल्कुल आईना हुआ☺☺
आज रूठी जिन्दगी को मेरा शुक्राना हुआ।
कभी हीर के लिए आशिक रांझा हुआ
तो कभी शमा के लिए परवाना हुआ
इश्क मैने भी गहराई से किया था
और इश्क मेरा भी सूफियाना हुआ☺☺
आज रूठी जिन्दगी को मेरा शुक्राना हुआ।
वफा मिले कही गुजरे जमाना हुआ
पुराना पता इनका बहुत पुराना हुआ☺☺
मेरी आँखो का समुद्र अब सुख गया इस कदर
कि गिरे आँसू जबरदस्ती पलकों का झपकाना हुआ
आज रूठी जिन्दगी को मेरा शुक्राना हुआ।
जब पल आखिरी जिंदगी का जाना हुआ
अल्लाह का नाता जोड़ने साथ मेरे आना हुआ
जिंदगी का सूरज डूबने ही चला था☺☺
कि मेरी भी जिंदगी का एक फसाना हुआ
आज रूठी जिन्दगी को मेरा शुक्राना हुआ।
गोविंद पटीर....✍✍✍
#Life