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amandhiman7690
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Aman Dhiman

किसी की ख़्वाहिश मुझे तो नही है तुझे इश्क़ है तो बड़े शौक़ से आ गरीबी किताबें यही है वसीयत तुझे इश्क़ है? तो बड़े शौक़ से आ

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Aman Dhiman

अब पहली सफ़ में बैठे हम
बस  तुझको  देखा करते है

सुनना  चाहें   दुनिया  वाले
कितना हम  तुम पे मरते है

हम भी उसको दिल दे बैठे
सब जिसका पानी भरते है

झूठा  हमको  कहते है जो
खुद  सच कहने से डरते है

दुश्मन को जो समझे नादाँ
आखिर  बाज़ी  में  हरते है #justfeelingsonlyfeelings #ghazal #shayari #poetry #betarteeb #ishq #zindagi #love #life #mehbob

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7 Love

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Aman Dhiman

ये कैसा रोग ज़माने को लगा है
हर कोई अपने आका को बचाने में लगा है
नाम, रंग, ज़ात, पहनावा
चेहरे चुन चुन कर ढूंढ रहे है
हर कोई एक दुझे की गलतियां गिनाने में लगा है
ये कैसा रोग ज़माने को लगा है

ग़रीब को दो वक्त का राशन देकर
वीडियो बनाता है कोई 
फ़ोटो खिंचवाता है कोई
टी वी पर, अखबार में ख़बर लगवाता है कोई
मैं हूँ महान, हर शख़्स यहां मौका भुनाने में लगा है
ये कैसा रोग ज़माने को लगा है

हक़ीक़त है क्या, किस को खबर है
जिसका है पैसा, उसकी ही कदर है
जिस कलम में थी ताक़त
अब वो भी बिक रही है
बुरी है अपनी हाल, मगर किसे दिख रही है
जिसे झूठ था मिटाना, वही सच छिपाने में लगा है
ये कैसा रोग ज़माने को लगा है

अमन कभी खुद के गुनाहों से भी पर्दा उठा ले
अपने अंदर की बुराई को मिटा दे
तूने देखा है खुद को आईने में कभी
या सिर्फ दूसरों को आईना दिखाने में लगा है
ये कैसा रोग ज़माने को लगा है

#justfeelingsonlyfeelings ये कैसा रोग ज़माने को लगा है
हर कोई अपने आका को बचाने में लगा है
नाम, रंग, ज़ात, पहनावा
चेहरे चुन चुन कर ढूंढ रहे है
हर कोई एक दुझे की गलतियां गिनाने में लगा है
ये कैसा रोग ज़माने को लगा है

ग़रीब को दो वक्त का राशन देकर

ये कैसा रोग ज़माने को लगा है हर कोई अपने आका को बचाने में लगा है नाम, रंग, ज़ात, पहनावा चेहरे चुन चुन कर ढूंढ रहे है हर कोई एक दुझे की गलतियां गिनाने में लगा है ये कैसा रोग ज़माने को लगा है ग़रीब को दो वक्त का राशन देकर #justfeelingsonlyfeelings

9 Love

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Aman Dhiman

बचपन की यादों में  जो  खोया है कोई
तो  कोई  रोता  है  दो  रोटी की खातिर

कोई चलता है मीलों, घर की चाहत में
हाँ  ये भी  होता है  दो रोटी की खातिर बचपन की यादों में  जो  खोया है कोई
तो  कोई  रोता  है  दो  रोटी की खातिर

कोई चलता है मीलों, घर की चाहत में
हाँ  ये भी  होता है  दो रोटी की खातिर

#justfeelingsonlyfeelings #poetry #shayari #zindagi #roti #life #travel #betarteeb

बचपन की यादों में जो खोया है कोई तो कोई रोता है दो रोटी की खातिर कोई चलता है मीलों, घर की चाहत में हाँ ये भी होता है दो रोटी की खातिर justfeelingsonlyfeelings poetry shayari zindagi roti life travel betarteeb

10 Love

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Aman Dhiman

ये नफरतों का सिलसिला तो फिर कभी

क्या  मैं अभी  थोड़ी  महोब्बत सीख लूँ #justfeelingsonlyfeelings #shayari #poetry #life #zindagi #betarteeb #love #hate

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9 Love

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Aman Dhiman

ज़िंदगी को रास्ते भर  ढूँढता  मैं चल रहा था

और वो घर पर मुझे आराम से बैठी मिली है #justfeelingsonlyfeelings #shayari #poetry #life #betarteeb #zindagi

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6 Love

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Aman Dhiman

कभी दी घर ने फुरसत खुद मिलूँगा मैं तुझे आकर
शिकायत  है अभी सब को  कहीं  जाता नही हूँ मैं

किसी को है अगर चाहत हकीक़त में मिले मुझसे
हसीनों  से  कहो  अब  ख़ाब  में  आता  नही हूँ मैं

हक़ीकी है मिरी हर बात, तू आशिक़ मिज़ाजी का
न,  ऐसी  आशिक़ी  के  गीत  अब गाता नही हूँ मैं

ज़ुबाँ पर सच रखा जब तो ख़फ़ा ही हो गए अपने
जहां  में हर किसी को आज कल भाता नही हूँ मैं

अलग ही  दौर था वो  उन  दिनों  मेरा खुदा था तू
अमन  अब  दुश्मनों  में भी  तुझे  पाता नही हूँ मैं कभी दी घर ने फुरसत खुद मिलूँगा मैं तुझे आकर
शिकायत  है अभी सब को  कहीं  जाता नही हूँ मैं

किसी को है अगर चाहत हकीक़त में मिले मुझसे
हसीनों  से  कहो  अब  ख़ाब  में  आता  नही हूँ मैं

हक़ीकी है मिरी हर बात, तू आशिक़ मिज़ाजी का
न,  ऐसी  आशिक़ी  के  गीत  अब गाता नही हूँ मैं

कभी दी घर ने फुरसत खुद मिलूँगा मैं तुझे आकर शिकायत है अभी सब को कहीं जाता नही हूँ मैं किसी को है अगर चाहत हकीक़त में मिले मुझसे हसीनों से कहो अब ख़ाब में आता नही हूँ मैं हक़ीकी है मिरी हर बात, तू आशिक़ मिज़ाजी का न, ऐसी आशिक़ी के गीत अब गाता नही हूँ मैं

6 Love

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Aman Dhiman

जब सभी चल दिए छोड़ कर 
साथ   तू  ने   दिया   ज़िन्दगी

ख़ाब  सब  बेच  कर  बाप  ने
फिर सबर कर लिया ज़िन्दगी

रात  दिन   झूमता   ही    रहा
जाम   ऐसा   पिया   ज़िन्दगी

लिख लिया रो लिया सो गया
रोज़   ऐसे    जिया   ज़िन्दगी

नाम   है    शायरों   में   मिरा
ये भला  क्या किया ज़िन्दगी जब सभी चल दिए छोड़ कर 
साथ   तू  ने   दिया   ज़िन्दगी

ख़ाब  सब  बेच  कर  बाप  ने
फिर सबर कर लिया ज़िन्दगी

रात  दिन   झूमता   ही    रहा
जाम   ऐसा   पिया   ज़िन्दगी

जब सभी चल दिए छोड़ कर साथ तू ने दिया ज़िन्दगी ख़ाब सब बेच कर बाप ने फिर सबर कर लिया ज़िन्दगी रात दिन झूमता ही रहा जाम ऐसा पिया ज़िन्दगी #Zindagi #ghazal #poem #ishq #Shayari #justfeelingsonlyfeelings

8 Love

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Aman Dhiman

मैं अपनो के दोष छिपाता हूँ
मैं गैरों पे लांछन लगाता हूँ
जब उँगली मुझ पर उठने लगे
चुपचाप वहाँ से खिसक जाता हूँ
मेरी बुद्धि बहुत ही छोटी है
मैं किसी के भी पीछे लग जाता हूँ
मैं धर्म के नाम पर बँटता हूँ
मैं अक्सर दंगों में कटता हूँ
मुझे आग लगानी आती है
अपनी इज़्ज़त बचानी आती है
मैं ये भी हूँ मैं वो भी हूँ
मैं भीड़ का हर एक चेहरा हूँ
मुझको ही ये मालूम नही
मैं इक प्यादा हूँ इक मोहरा हूँ
मुझे कल वालों ने लूटा था
मैं आज भी लूटा जाता हूँ
ये मेरे बस की बात नही
मैं सियासत कहाँ समझ पाता हूँ
जिसने मुझे बनाया है
वो बेबस है लाचार है बहुत
मुझे रक्षा उसकी करनी है
मुझको ही उसे बचाना है
वो नादाँ है वो तो पगला है
बस अमन ही एकलौता सियाना है मैं अपनो के दोष छिपाता हूँ
मैं गैरों पे लांछन लगाता हूँ
जब उँगली मुझ पर उठने लगे
चुपचाप वहाँ से खिसक जाता हूँ
मेरी बुद्धि बहुत ही छोटी है
मैं किसी के भी पीछे लग जाता हूँ
मैं धर्म के नाम पर बँटता हूँ
मैं अक्सर दंगों में कटता हूँ

मैं अपनो के दोष छिपाता हूँ मैं गैरों पे लांछन लगाता हूँ जब उँगली मुझ पर उठने लगे चुपचाप वहाँ से खिसक जाता हूँ मेरी बुद्धि बहुत ही छोटी है मैं किसी के भी पीछे लग जाता हूँ मैं धर्म के नाम पर बँटता हूँ मैं अक्सर दंगों में कटता हूँ #Poetry #poem #kavita #nazm #justfeelingsonlyfeelings

10 Love

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Aman Dhiman

कल ज़िंदगी ने है बुलाया कुछ दिखाने के लिए
चल  देखते है  यार  ये  हमको  दिखाएगी क्या

मैं सुन रहा हूँ  तू सुना अपना फसाना ज़िंदगी
अपनी कहानी के सभी किस्से सुनाएगी क्या

तू इक इशारा कर ज़रा   मैं रोक लूँगा  मौत को
इस  रात से पहले  बता  तू  लौट  आएगी  क्या

इन सरहदों ने तो जुदा अब कर रखे है घर कई
हाँ ये नई  सरकार  सब बिछड़े  मिलाएगी क्या

चुपचाप मेरे सामने अब यूँ खड़ी खामोश सी
सच बोल दे ये आज तू भी रूठ जाएगी क्या

जो भी मिला मुझको सबक बन के मिला है अब तलक
तू   भी   ज़ख़्म   देकर  मुझे    मरहम   लगाएगी   क्या

सब कुछ गवा कर मैं तुझे अब हूँ मिला इस मोड़ पर
तेरे  सिवा  कुछ  भी  नही   खुद  को  चुराएगी  क्या

उसने  बुलाया  है  मुझे  कुछ  बात  करने के लिए
सब कह दिया था तब मुझे अब वो बताएगी क्या

नासाज़  है  तेरी तबीयत  कह  रहे  थे  वैद  जी
माँ सच बता अब और तू मुझसे छिपाएगी क्या

सब हार कर आया अमन कुछ जीतना बाकी नही
जो  जीत  कर  हारा  यहाँ   उसको  हराएगी  क्या कल ज़िंदगी ने है बुलाया कुछ दिखाने के लिए
चल  देखते है  यार  ये  हमको  दिखाएगी क्या

मैं सुन रहा हूँ  तू सुना अपना फसाना ज़िंदगी
अपनी कहानी के सभी किस्से सुनाएगी क्या

तू इक इशारा कर ज़रा   मैं रोक लूँगा  मौत को
इस  रात से पहले  बता  तू  लौट  आएगी  क्या

कल ज़िंदगी ने है बुलाया कुछ दिखाने के लिए चल देखते है यार ये हमको दिखाएगी क्या मैं सुन रहा हूँ तू सुना अपना फसाना ज़िंदगी अपनी कहानी के सभी किस्से सुनाएगी क्या तू इक इशारा कर ज़रा मैं रोक लूँगा मौत को इस रात से पहले बता तू लौट आएगी क्या #Poetry #Love #ghazal #maa #poem #Shayari #justfeelingsonlyfeelings

14 Love

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Aman Dhiman

मुझको जला दिया इस बात पर यहाँ
तुम मायके से कुछ  लाती नही कभी

शब भर  खड़ी रही  "माँ"  इंतज़ार में
रोटी  मिरे  बिना   खाती  नही  कभी

सब कह दिया उसे क्या हाल है मिरा
मुझ पर  दया उसे  आती नही  कभी

यूँ  सोचता रहा  मैं  रात  भर  अमन
ये रात क्यो  गुज़र  जाती नही कभी मुझको जला दिया इस बात पर यहाँ
तुम मायके से कुछ  लाती नही कभी

शब भर  खड़ी रही  "माँ"  इंतज़ार में
रोटी  मिरे  बिना   खाती  नही  कभी

सब कह दिया उसे क्या हाल है मिरा
मुझ पर  दया उसे  आती नही  कभी

मुझको जला दिया इस बात पर यहाँ तुम मायके से कुछ लाती नही कभी शब भर खड़ी रही "माँ" इंतज़ार में रोटी मिरे बिना खाती नही कभी सब कह दिया उसे क्या हाल है मिरा मुझ पर दया उसे आती नही कभी #ghazal #poem #Shayari #justfeelingsonlyfeelings

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