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New पलाश के फूल Quotes, Status, Photo, Video

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Amit Singhal "Aseemit"

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Dr Jayanti Pandey

पलाश के फूलों को देखना... #jayakikalamse #yqdidi #bestyqhindiquotes #twoliner

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कभी पलाश के फूलों को देखा है तुमने,अंगारों से खिलते हैं 
लगता है जैसे उनके साए में , किसी ने अरमान जलाए होंगे पलाश के फूलों को देखना...
#jayakikalamse 
#yqdidi  #bestyqhindiquotes #twoliner

Urvil Singh

पलाश के फूल https://youtu.be/vXVvwghBIns #Hindi #nojotohindi #sadpoetry #Poetry #poem #Love #kavita #streetofpoetry

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पलाश के फूल
https://youtu.be/vXVvwghBIns
#hindi #nojotohindi #sadpoetry #poetry #poem #love #kavita #streetofpoetry

Harshita Dawar

#cinemagraph #RESPECT #Relationship #yqbaba #yqdidi #yqquotes Written by Harshita ✍️✍️ #jazzbaat पलाश के फूलों की रंगो की बारिश तुम्हारे वो

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Written by Harshita ✍️✍️
#Jazzbaat
पलाश के फूलों की रंगो की बारिश
तुम्हारे वो गालों की लाली की रंजिश

वो सुर्ख सूरज के वो किरणों में जलना
वो कागज़ के फूलों की रोली में रंगना #cinemagraph #respect #relationship #yqbaba #yqdidi #yqquotes 
Written by Harshita ✍️✍️
#Jazzbaat
पलाश के फूलों की रंगो की बारिश
तुम्हारे वो

Harshita Dawar

#Age #feelings #MyThoughts #yqbaba #yqdidi Written by Harshita ✍️✍️ #jazzbaat ज़िन्दगी क्या है। जीवन कम है। रोशनीं में हम है। चिथडों सी गुज

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Written by Harshita ✍️✍️
#Jazzbaat
ज़िन्दगी क्या है।
जीवन कम है।
रोशनीं में हम है।
चिथडों सी गुज़री ज़िन्दगी।
के कुछ कतरे पलाश के फूलों।
पर वो ओंस की बूंदों से बिखरे।
मोती के समान रूप धारण करें।
बेरंग दुनियां में नशें भर में जीते रहे।
लाल सुर्खं गुलाबी होंठ।
मुस्कुराने का वादा करते रहे।
कुछ जीते रहे।कुछ करते रहे।
घुंलते रहे।उगते रहे।
उम्र भर घुंघरू बजते रहे।
मसीहों की राह ताकते चलते रहे।
छालें पड़ते रहे। झांइयों का चक्रं धुमता रहा।
दुआं में धुआं सा उड़ता रहा। 
पलाश के फूलों की महका बढ़ती रही।
महक के साथ ख़तम होती रही।
ये उम्र कभी रुकती नहीं।
रुकती नहीं। रुकती नहीं।


 #age #feelings #mythoughts #yqbaba #yqdidi 
Written by Harshita ✍️✍️
#Jazzbaat
ज़िन्दगी क्या है।
जीवन कम है।
रोशनीं में हम है।
चिथडों सी गुज

Swarima Tewari

मेरे तुम्हारे बीच बहुत सारे शहर उगे हैं इन शहरों में लोग मकान में नहीं रहते वो मंडराते हैं हम दोनों के चारों ओर समाज, नियम, ज़िम्मेदारियों #hindiquotes #yqbaba #hindipoetry #yqdidi #yqhindi #pc_google #पलाश

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जंगल की आग "पलाश"..
(Full in caption) मेरे तुम्हारे बीच 
बहुत सारे शहर उगे हैं
इन शहरों में लोग 
मकान में नहीं रहते
वो मंडराते हैं 
हम दोनों के चारों ओर
समाज, नियम, ज़िम्मेदारियों

Harshita Dawar

#cinemagraph #RESPECT #Relationship #yqbaba #yqdidi #yqquotes Written by Harshita ✍️✍️ #jazzbaat पलाश के फूलों की रंगो की बारिश तुम्हारे वो

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Written by Harshita ✍️✍️
#Jazzbaat
पलाश के फूलों की रंगो की बारिश
तुम्हारे वो गालों की लाली की रंजिश

वो सुर्ख सूरज के वो किरणों में जलना
वो कागज़ के फूलों की रोली में रंगना,

 वो बोली में ख़ुद को अलग सा समझना 
जो आंखों में ख़ुद को यूं मिलना बिछड़ना, 

वो गहरे  से ज़ख्मों पे मरहम सा बनना , 
वो गम में पिघलना वो हमदम समझना #cinemagraph #respect #relationship #yqbaba #yqdidi #yqquotes 
Written by Harshita ✍️✍️
#Jazzbaat
पलाश के फूलों की रंगो की बारिश
तुम्हारे वो

Anupama Jha

पलाश के फूल से हो गए हैं शब्द निकलते हैं फूटती हैं उनसे संवेदनायें कपास सी हल्की,फुल्की फिर भावनाओं के आँधी में उड़ती हैं #yqdidi #आग

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पलाश के फूल से 
हो गए हैं शब्द!
निकलते हैं,
फूटती हैं उनसे संवेदनायें,
कपास सी,
हल्की,फुल्की
फिर भावनाओं के
आँधी में उड़ती हैं,
भटकती हैं दिशा हीन...
©अनुपमा झा
(पूरी कविता अनुशीर्षक में)





 पलाश के फूल से 
हो गए हैं शब्द
निकलते हैं
फूटती हैं उनसे संवेदनायें
कपास सी
हल्की,फुल्की
फिर भावनाओं के
आँधी में उड़ती हैं

MAHENDRA SINGH PRAKHAR

माँझी है इस नाव के , जग के पालन हार । रहो शरण उनकी सदा , करते नैया पार ।। कागा बैठ मुँडेर पर , देता है संदेश । आयेंगे जब साजना , बदलेगा पर #कविता

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माँझी है इस नाव के , जग के पालन हार ।
रहो शरण उनकी सदा  , करते नैया पार ।।

कागा बैठ मुँडेर पर , देता है संदेश ।
आयेंगे जब साजना , बदलेगा परिवेश ।।

ज्यों पलाश के फूल से , प्यारा लगे बसंत ।
वैसे ही अब हे सखी ,  मुझको भाए कंत ।।

लिख दूँ पाती आज मैं , आ जाओ अब गाँव ।
तुम बिन भाती है नही , यह पीपल की छाँव ।।

फीके लगते है मुझे , होली के सब रंग ।
आज पडूँ पैंय्या सजन , मोहि लगा लो अंग ।।


०९/०३/२०२३      महेन्द्र सिंह प्रखर

©MAHENDRA SINGH PRAKHAR माँझी है इस नाव के , जग के पालन हार ।
रहो शरण उनकी सदा  , करते नैया पार ।।

कागा बैठ मुँडेर पर , देता है संदेश ।
आयेंगे जब साजना , बदलेगा पर
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