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PRAVEEN YADAV

अथर्ववेद #पौराणिककथा

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वेदों की दिशा

।। ॐ ।।

ध्रुवां भूमिं पृथिवीं धर्मणा धृताम् ॥

धर्म से नियन्त्रण में रखी गई भूमि दृढ़ है । 

The land kept under control by Dharma is firm.

अथर्ववेद १२।१।१७ #अथर्ववेद #वेद #धर्म

वेदों की दिशा

मा बिभेर्न मरिष्यसि ।।

हे मनुष्य तू भयभीत ना हो, तुम ( रोग से ) मरोगे नहीं।।

Fear not, you will not die

( अथर्वेद.५.३०.८ ) #Veda
#अथर्ववेद

Anjana Gupta Astrologer

होली के उपाय

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होली के उपाय अंजना ज्योतिषाचार्य 
1.नारियल ओर नींबू एक कागज की पूडिया के अंदर राई बांध लेवे जिसको काली सरसों भी कहते हैं कुछ नमक सादा या काला जो उपलब्ध होे उन सभी को एक साथ बांधे ओर पूरे मकान के अंदर सात बार घुमाए जो बीमार रहते हैं।
2.घर के प्रत्येक सदस्य को होलिका दहन में देशी घी में भिगोई हुई दो लौंग, एक बताशा और एक पान का पत्ता अवश्य चढ़ाना चाहिए । होली की ग्यारह परिक्रमा करते हुए होली में सूखे नारियल की आहुति देनी चाहिए। 3.होली पर पूरे दिन अपनी जेब में काले कपड़े में बांधकर काले तिल रखें। रात को जलती होली में उन्हें डाल दें। यदि पहले से ही कोई टोटका होगा तो वह भी खत्म हो जाएगा। 
 👉 होली दहन के दूसरे दिन होली की राख को घर लाकर उसमें थोडी सी राई व नमक मिलाकर रख लें। इस प्रयोग से भूतप्रेत या नजर दोष से मुक्ति मिलती है। 
 नवग्रह बाधा के दोष को दूर करने के लिए होली की राख से शिवलिंग की पूजा करें तथा राख मिश्रित जल से स्नान करें। 
👉 होली वाले दिन किसी गरीब को भोजन अवश्य करायें। 
👉 होली की रात्रि को सरसों के तेल का चौमुखी दीपक जलाकर पूजा करें व भगवान से सुख - समृद्धि की प्रार्थना करें। इस प्रयोग से बाधा निवारण होता है।
👉 राहु का उपाय - एक नारियल का गोला लेकर उसमे अलसी का तेल भरकर..उसी में थोडा सा गुड डाले..फिर उस नारियल के गोले को राहू से ग्रस्त व्यक्ति अपने शारीर के अंगो से स्पर्श करवाकर जलती हुई होलिका में डाल देवे. पुरे वर्ष भर राहू से परेशानी की संभावना नहींहै। होली के उपाय

Pinky Verma

शनि के उपाय #Life_experience

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वेदों की दिशा

।। ॐ ।।

यस्य त्रयस्त्रिंशद् देवा अङ्गे गात्रा विभेजिरे । 
तान् वै त्रयास्त्रिंशद् देवानेके ब्रह्मविदो विदुः ।।

अर्थात वेदज्ञ लोग जानते हैं कि तैंतीस प्रकार के देवता संसार का धारण और प्राणियों का पालन कर रहे हैं ।

 That is, Vedic people know that thirty three types of gods are wearing the world and following beings.

अथर्ववेद  १०।७।२७ #अथर्ववेद #वेद #देवता #तैंतीस_कोटि_देव
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