Find the Latest Status about व्यंग्य from top creators only on Nojoto App. Also find trending photos & videos about, व्यंग्य.
Abhay Bhadouriya
सुनो देखों "हम अच्छे दोस्त हैं.." ये अच्छा उलाहना है.. जिन्हें कभी दोस्त से अधिक होना था वो सदा दोस्त ही बने रहे.... #प्रेम #प्रेम_पर_चिंतन #उलाहना #व्यंग्य #व्यंग्यबाण #love #yqhindi #abhaybhadouriya
अदनासा-
😆😅😂🤣🤪😜व्यंग्यबाण😜🤪🤣😂😅😆 भारत जानना चाहता है ? India Wants To Know ? जनता के बीच पनौती शब्द की चर्चा क्यों है ? Why Is The Word Panouti Discussed Among The Public ? BECAUSE देखों ज़रा देखों जाने ये कैसे हुआ पर कैसे पनौती का उद्धार हो गया क़ानून है अंधश्रद्धा के निर्मूलन का परंतु पनौती अपना काम कर गया जनता जागरूक है ऐसा सोचा था पर पनौती शोर जनता में मच गया जब चुनौती से मुंह मोड़ा जाता है समझो पनौती मन में घर कर गया 😆😅😂🤣😜🤪व्यंग्यबाण😜🤪😅😂🤣😆 ©अदनासा- #हिंदी #व्यंग्य #व्यंग्यबाण #अंधश्रद्धा #पनौती #कानून #जनता #Instagram #Facebook #अदनासा
@mahi
Motive यहाँ कुछ बात है इस एकहि एहसास की कुछ खास बात है क्या??😊 देखो बोल भी दो 🤗 सब कुछ सहते👧👩🎓👩👰 हुए भी क्या ये वो तुम्हारी हँसी वाली मुलाकात है क्या?😊 और ऐसा है तो किसी के सामने ,आत्मसम्मान बनाये रखना ये दुनियाँ है,लोग पूछ बैठेंगे आजकल बहोत खुश रहते हो माही कोई खास सौगात है क्या???🙂 ©@mahi #व्यंग्य01 #WaheedaRehman
आशुतोष आर्य "हिन्दुस्तानी"
#कविता_संग्रह #व्यंग्यबाण ये सीमा-पार के लोग नहीं, ये अंदर के गद्दार है। जिन्हे देश की नहीं सूझती, स्वार्थी बने वो बैठे है। चीनी माल चाप रहे है, न जाने क्यों ऐंठे है।। ऐसे लोगों में मुझको बस दिखता इक गद्दार है। जिनको हिजड़े से ज्यादा कुछ कहना ही बेकार है।। जिनको हिजड़े से ज्यादा कुछ कहना ही बेकार है।। इन लोगों ने देश को न जाने क्या-क्या दुख दे डाला। छीन लिया है इन लोगों ने गरीबों का निवाला।। अब मुझको लगता है बस इन्हें राष्ट्र-नर्क में जाना है। क्योंकी इनकी देशभक्ति कुछ और नहीं बहाना है।। क्योंकी इनकी देशभक्ति कुछ और नहीं बहाना है।। किसी को अल्लाह प्यारे है और किसी को राम ही न्यारा है। अब इकलौता पड़ा बेचारा हिन्दुस्तान हमारा है।। उन पंडों, उन मुल्लों से कह दो कि गर हम न होते। तो फिर उनके अब्बू-अम्मा तलवे चाट रहे होते।। तो फिर उनके अब्बू-अम्मा तलवे चाट रहे होते।। गद्दारों के अंदर कोई देश-प्रेम का भाव नहीं। देश के प्रति चिंतन करने का उनमें कोई चाव नहीं।। शायद उनको देशभक्ति का मलहम अभी है लगा नहीं। शायद उनको देशद्रोह का अंतिम क्या है पता नहीं।। शायद उनको देशद्रोह का अंतिम क्या है पता नहीं।। काट-काट इन चंडालों का सिर, लहू अधर पर धारेंगें। हम हिन्द के रक्षक हिन्द-शत्रु के अधम का बोझ उतारेंगें।। जो भी देशद्रोही देशद्रोह को, भारत में पधारेंगें। कान खोलकर सुन लो हम दौड़ा-दौड़ा कर मारेंगें।। कान खोलकर सुन लो हम दौड़ा-दौड़ा कर मारेंगें।। ये हिन्द की धमकी नहीं, आशुतोष "हिन्दुस्तानी" की ललकारे हैं। हम उन वीरों के वंशज, जिसने लाख शत्रु-दल मारे हैं।। गुंजन में अब बस शेष बचे, "जय जय हिन्द" के नारे हैं।। क्या कहू् और उनको मै जिनको, मनुष्यता भी धिक्कारे है। यह कविता भी है ऐसी, जिसको हर पाठक स्वीकारे है। बस यहीं कहूंगा "जय हिन्द", जो सवा अरब को तारे है।। बस यहीं कहूंगा "जय हिन्द", जो सवा अरब को तारे हैं।। :- आशुतोष "हिन्दुस्तानी" #कविता_संग्रह #व्यंग्यबाण
ishwar
ख़ुदा ने तुम्हे इंसान बनाया है तो इंसानियत खरीदो कुत्ते नही । वरना संगत का असर तो आएगा , फिर पूँछ ही हिलाओगे इंसानो के सामने ।। व्यंग्यात्मक परिदृश्य।
अभिषेक सिंह
शराब कहने को तो ये हर मर्ज की दवाई है, पर इसी से घर मे आफत आई है, कुछ लोग इसे तनाव का इलाज बताते है,तो कुछ तन्हाई का साथी कहते है, पीने वाले तो इसे अपनी महबूबा भी कहते है, अगर ये इतनी जरूरी है तो इसे छिप कर पीना क्यूँ, अगर जरूरी नही है तो व्यर्थ में चर्चा क्यों?? #शराब,#व्यंग्यात्मक कटाक्ष
करण शुभकरण
जो टूट गया वो वादा था खत मिला जो उसका आधा था वो सुबह को यही सोच कर आई थी मेरे पास रात न रुकने का तो उसका शुरू से ही इरादा था किया तो उसने भी था इश्क मुझसे ग़ालिब उसका थोड़ा और मेरा थोड़ा ज्यादा था मासूमियत मगरूरियत को छुपा लेती है मैं पढ़ न सका चेहरे पर उसके मेकअप बहुत ज्यादा था #कहानी #गजल #शायरीलवर #व्यंग्यात्मक