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Pankaj Singh Chawla
कोई विरला ही होउ जो साडे दिल ते राज़ करू, तेरे वरगे ता रोज़ हज़ारा औंदे ने, कोई न कोई फ़रमाइश रख जौंदे ने, साडे दिल दे राज़ ता दूर साढी नज़र विचो वि गिर जौंदे ने।। विरला- अनोखा / uncomman #Virla #yqbaba #ypaaji #punjabi #yqdidi
Rasmeet Bhatia
कलयुग मे प्रेम होता सबको है, पर छूता किसी विरले को ही है.... विरला - rare #yqbaba #yqhindi #yqdidi #yqhindishayari #yqhindiquotes #yqhindiwriters #rasmeetbhatiaquotes
Balkrishna Ashish
sûmìt upãdhyåy(løvë flūtê)
Santosh Jadhav
पाऊस..तो अन् विरहीणी...! गार झोंबणाऱ्या वाऱ्याचे इशारे.. धारा होऊन थेंबांचे पहारे... चिंब चिंब रात्रीचे रोमरोम शहारे.. वचन तू होते मला दिले रे..ये ना प्रियतमा रे...! आठवणींनी थेंब भिजलेले... वाट पाहून भाव विझलेले.. रात जागून स्वप्न निजलेले.. त्या स्वप्नांना तुझ्या मिठीने..जागव ना..जिवलगा रे...! त्या पहिल्या भेटीचा विसर पडला रे.. त्या प्रणयगीतांचा शब्द शब्द विरला रे... हा एकांत कसा नशिबी आला रे.. माझ्याविना दैना तिथे..अशीच का तुझी सख्या रे...! हा भास का होतो तुझा... हा ध्यास का मजला तुझा... हा श्वास का जपतो तुला... मन मोडू नको.. तोडू नको विश्वास प्राणप्रिया रे..! का रे अबोल तू...असा पावसा.. असा रूक्ष हा...तुझा स्पर्श कसा... तू ही पलटला...पलटला तो जसा... दोघे मिळून कसा खेळलात..जीवघेणा हा डाव रे..! शेवटची माझी एक विनवणी... पुन्हा जगू दे ते क्षण फिरूनी... फक्त एकदा या दोघे जमूनी... व्हा एकरुप जा बरसूनी... माझ्या प्रिया रे...! -संतोष लक्ष्मण जाधव. 9890064001. (20.08.20) #पाऊस.. तो अन् विरहिणी..! पाऊस..तो अन् विरहीणी...! गार झोंबणाऱ्या वाऱ्याचे इशारे.. धारा होऊन थेंबांचे पहारे... चिंब चिंब रात्रीचे रोमरोम
MAHENDRA SINGH PRAKHAR
voters day quotes in hindi विषय :- लोकतंत्र का उत्सव ,(मतदान) भूल नहीं माँ बहनो जाओ , करने को मतदान । एक-एक मत से है मिलता , तुमको नेक प्रधान ।।भूल-नहीं... देखो लालच में मत पड़ना , सभी लगाये घात । बिजली पानी सड़क खडंजा , लाये हैं सौगात ।। इनमें उलझ-उलझ कर देखो , खोना मत ईमान ।भूल नहीं ... बनके राजा जब बैठेंगे , देंगे पग-पग शूल । मगर नहीं दे सकते तुमको, वे बच्चों का स्कूल ।। अब खोल-खोल स्कूल जगत में, बनते सब धनवान ।भूल नहीं .. अपना मत अपनी इच्छा से , देने का अधिकार । बनो सजग मतदाता जग के , यह जग है परिवार ।। आसमान जब छुए तिरंगा , बढ़े देश का शान ।भूल नहीं... विरला ही भोता है जग में , नेता एक महान । चोर लुटेरे देख आज लो , करते धन को दान ।। इसी लोभ में फँसता देखो , भोला हर इंसान ।भूल नहीं... भूल नहीं माँ बहनो जाओ , करने को मतदान । एक-एक मत से है मिलता , तुमको नेक प्रधान ।। २८/०३/२०२४ - महेन्द्र सिंह प्रखर ©MAHENDRA SINGH PRAKHAR विषय :- लोकतंत्र का उत्सव ,(मतदान) भूल नहीं माँ बहनो जाओ , करने को मतदान । एक-एक मत से है मिलता , तुमको नेक प्रधान ।।भूल-नहीं... देखो लालच
Vandana
सारी इंद्रियों में आंखें ही हमें ज्यादा सुख देती हैं हर चीज महसूस कराती हैं किसी के चेहरे के हाव-भाव दुख दर्द हंसी मुस्कुराहट सारी संवेदनाएं हृदय तक पहुंचाती हैं इन आंखों से एक इंसान क्या क्या देखता है बाजार जाते हुए,, लोगों के चेहरे इमारतें ,,रास्ते,, बच्चे बूढ़े और महसूस करता है उनके चेहरे के हाव भ
Kulbhushan Arora
ये कॉमेंट मेरे लिए भी मोटिवेशन है Dear Yq Friends, मैं आप सभी लोगों का आभारी हूं,आप सबने मुझे इतना सम्मान,इतना स्नेह इतना आदर दिया है। मुझे अपनी Teenage yaad hei जब मेरे सारे
Vikas Sharma Shivaaya'
✒️📙जीवन की पाठशाला 📖🖋️ 🙏 मेरे सतगुरु श्री बाबा लाल दयाल जी महाराज की जय 🌹 🙏*हरे कृष्ण हरे कृष्ण कृष्ण कृष्ण हरे हरे*🌹 कृष्ण कहते हैं-"तुम पाँचों भाई वन में जाओ और जो कुछ भी दिखे वह आकर मुझे बताओ मैं तुम्हें उसका प्रभाव बताऊँगा..., पाँचों भाई वन में गये..., युधिष्ठिर महाराज ने, देखा कि किसी हाथी की दो सूँड है,यह देखकर आश्चर्य का पार न रहा..., अर्जुन दूसरी दिशा में गये,वहाँ उन्होंने देखा कि कोई पक्षी है, उसके पंखों पर वेद की ऋचाएँ लिखी हुई हैं पर वह पक्षी मुर्दे का मांस खा रहा है ,यह भी आश्चर्य है ..., भीम ने तीसरा आश्चर्य देखा कि गाय ने बछड़े को जन्म दिया है और बछड़े को इतना चाट रही है कि बछड़ा लहुलुहान हो जाता है..., सहदेव ने चौथा आश्चर्य देखा कि छः सात कुएँ हैं और आसपास के कुओं में पानी है किन्तु बीच का कुआँ खाली है- बीच का कुआँ गहरा है फिर भी पानी नहीं है..., पाँचवे भाई नकुल ने भी एक अदभुत आश्चर्य देखा कि एक पहाड़ के ऊपर से एक बड़ी शिला लुढ़कती-लुढ़कती आती और कितने ही वृक्षों से टकराई पर उन वृक्षों के तने उसे रोक न सके, कितनी ही अन्य शिलाओं के साथ टकराई पर वह रुक न सकीं-अंत में एक अत्यंत छोटे पौधे का स्पर्श होते ही वह स्थिर हो गई..., पाँचों भाईयों के आश्चर्यों का कोई पार नहीं ?? शाम को वे श्रीकृष्ण के पास गये और अपने अलग-अलग दृश्यों का वर्णन किया..., युधिष्ठिर कहते हैं- "मैंने दो सूँडवाला हाथी देखा तो मेरे आश्चर्य का कोई पार न रहा।" तब श्री कृष्ण कहते हैं- "कलियुग में ऐसे लोगों का राज्य होगा जो दोनों ओर से शोषण करेंगे, बोलेंगे कुछ और करेंगे कुछ-ऐसे लोगों का राज्य होगा, इससे तुम पहले राज्य कर लो..., अर्जुन ने आश्चर्य देखा कि पक्षी के पंखों पर वेद की ऋचाएँ लिखी हुई हैं और पक्षी मुर्दे का मांस खा रहा है,इसी प्रकार कलियुग में ऐसे लोग रहेंगे जो बड़े-बड़े पंडित और विद्वान कहलायेंगे किन्तु वे यही देखते रहेंगे कि कौन-सा मनुष्य मरे और हमारे नाम से संपत्ति कर जाये...,"संस्था" के व्यक्ति विचारेंगे कि कौन सा मनुष्य मरे और संस्था हमारे नाम से हो जाये-हर जाति धर्म के प्रमुख पद पर बैठे विचार करेंगे कि कब किसका श्राद्ध है ?चाहे कितने भी बड़े लोग होंगे किन्तु उनकी दृष्टि तो धन के ऊपर (मांस के ऊपर) ही रहेगी... परधन परमन हरन को वैश्या बड़ी चतुर। ऐसे लोगों की बहुतायत होगी, कोई कोई विरला ही संत पुरूष होगा। भीम ने तीसरा आश्चर्य देखा कि गाय अपने बछड़े को इतना चाटती है कि बछड़ा लहुलुहान हो जाता है,कलियुग का आदमी शिशुपाल हो जायेगा- बालकों के लिए इतनी ममता करेगा कि उन्हें अपने विकास का अवसर ही नहीं मिलेगा.. किसी का बेटा घर छोड़कर साधु बनेगा तो हजारों व्यक्ति दर्शन करेंगे....किन्तु यदि अपना बेटा साधु बनता होगा तो रोयेंगे कि मेरे बेटे का क्या होगा ?""इतनी सारी ममता होगी कि उसे मोह माया और परिवार में ही बाँधकर रखेंगे और उसका जीवन वहीं खत्म हो जाएगा। अंत में बिचारा अनाथ होकर मरेगा. वास्तव में लड़के तुम्हारे नहीं हैं,वे तो बहुओं की अमानत हैं, लड़कियाँ जमाइयों की अमानत हैं और तुम्हारा यह शरीर मृत्यु की अमानत है..तुम्हारी आत्मा-परमात्मा की अमानत है ..तुम अपने शाश्वत संबंध को जान लो बस ! सहदेव ने चौथा आश्चर्य यह देखा कि पाँच सात भरे कुएँ के बीच का कुआँ एक दम खाली ,कलियुग में धनाढय लोग लड़के-लड़की के विवाह में, मकान के उत्सव में, छोटे-बड़े उत्सवों में तो लाखों रूपये खर्च कर देंगे परन्तु पड़ोस में ही यदि कोई भूखा प्यासा होगा तो यह नहीं देखेंगे कि उसका पेट भरा है या नहीं...दूसरी और मौज-मौज में,शराब, कबाब, फैशन और व्यसन में पैसे उड़ा देंगे...किन्तु किसी के दो आँसूँ पोंछने में उनकी रूचि न होगी और जिनकी रूचि होगी उन पर कलियुग का प्रभाव नहीं होगा, उन पर भगवान का प्रभाव होगा..., पाँचवा आश्चर्य यह था कि एक बड़ी चट्टान पहाड़ पर से लुढ़की, वृक्षों के तने और चट्टाने उसे रोक न पाये किन्तु एक छोटे से पौधे से टकराते ही वह चट्टान रूक गई.. कलियुग में मानव का मन नीचे गिरेगा, उसका जीवन पतित होगा, यह पतित जीवन धन की शिलाओं से नहीं रूकेगा न ही सत्ता के वृक्षों से रूकेगा ...किन्तु हरिनाम के एक छोटे से पौधे से,हरि कीर्तन के एक छोटे से पौधे मनुष्य जीवन का पतन होना रूक जायेगा ....! *प्रतिदिन महामन्त्र का जाप करें* 🙏हरे कृष्ण हरे कृष्ण कृष्ण कृष्ण हरे हरे।🌹 🙏हरे राम हरे राम राम राम हरे हरे।।🌹 अपनी दुआओं में हमें याद रखें बाकी कल ,खतरा अभी टला नहीं है ,दो गज की दूरी और मास्क 😷 है जरूरी ....सावधान रहिये -सतर्क रहिये -निस्वार्थ नेक कर्म कीजिये -अपने इष्ट -सतगुरु को अपने आप को समर्पित कर दीजिये ....! 🙏सुप्रभात 🌹 आपका दिन शुभ हो विकास शर्मा'"शिवाया" 🔱जयपुर -राजस्थान ©Vikas Sharma Shivaaya' ✒️📙जीवन की पाठशाला 📖🖋️ 🙏 मेरे सतगुरु श्री बाबा लाल दयाल जी महाराज की जय 🌹 🙏*हरे कृष्ण हरे कृष्ण कृष्ण कृष्ण हरे हरे*🌹 कृष्ण कहते हैं-"तुम
Arsh
मेरी यह रचना उस चिट्ठी को समर्पित है जो मुझे यहीं इस #NOJOTO पर एक पोस्ट के रूप में दिखी थी। मुझे उस चिट्ठी के भाव इतने पसंद आएं कि बस उसचिट्ठी के शब्दों को आप तक पहुँचाने के लिए अपनी कल्पना से गुलमोहर की रचना कर पाया। कहानी में आगे आपको वह चिट्ठी हूबहू पढ़ने को मिल जाएगी। मेरी इस कहानी को आप कैप्शन में पढ़ सकते हैं उम्मीद है आपको पसंद आएगी जब भी इस पार्क में टहलने आता हूँ, चमककर वो चेतन चेहरा सामने आ हीं जाता है। उसे यहीं.. इसी पार्क में जॉगिंग करते देखा करता था। नव्या थी, उम्र