Find the Latest Status about जीस्त का हिन्दी अर्थ from top creators only on Nojoto App. Also find trending photos & videos about, जीस्त का हिन्दी अर्थ.
Manju kushwaha
जीस्त की जुस्तजू थी, कहाँ मौत से टकरा गए, खामखा पाँव मेरे इश्क़ के दरिया में आ गए ll ©Manju kushwaha #जीस्त
Manmohan Dheer
इक़ टीस बचा के रखी है इक़ दर्द बचा के रखा है अजीबोगरीब इस दुनिया में इक़ हमदर्द बचा रखा है . इक़ नज़र बचा के रखी है इक़ असर बचा के रखा है हमसे भी कोई टकरायेगा इक़ सबर बचा के रखा है . तुम आये भी तो चले गए अच्छा ही हुआ जो चले गए ज़िंदा तो हुए हम थोड़ी देर को जल्द मगर सब सिलसिले गए . कहने को क्या कुछ बाकी है रहने को क्या कुछ बाकी है मिट रहे थे फ़ासले जो फिर बने सहने को क्या कुछ बाक़ी है . इक़ जीस्त बचा के रखी है इक़ सुकूं बचा के रखा है इक़ आस बचा के रखी है इक़ जुनूं बचा के रखा है . इक़ याद बचा के रखी है इक़ सांस बचा के रखी है तुम आओगे तो पी लेंगे तुमको इक़ प्यास बचा के रखी है जीस्त
Nitesh Kumar جگر دہلوی🇮🇳
अब जीस्त में तकलीफ़ों को सहना सीख लिया है । अपने गमों को खुद से ही कहना सीख लिया है। । हमने जिसे चाहा वो मिला ही नहीं कभी हमें। या खुदा अब तेरी तरह ही तन्हा रहना सीख लिया है ।। Nitesh kumar जीस्त -जिन्दगी ।
Rajesh Raana
वक्त दर वक्त शज़र की शाखे बदलती रही , पशेमाँ मंज़र भी देखे हमने अपनी जीस्त में, सो ये हुआ के हमारी आँखे बदलती रही । - राजेश "राणा" जीस्त #nojoto #hindinojoto #वक्त #शाख़ #जीस्त #पशेमाँ #मंज़र #आँख
SHANU KI सरगम
पास आओ कभी या बुलाओ कभी। रीत ये प्रीत की तुम निभाओ कभी।। दर खुला है तुम्हारे लिए जीस्त भर, भूल कर रास्ता तुम जो आओ कभी। ©SHANU KI सरगम जीस्त भर #SuperBloodMoon
NEERAJ SIINGH
जो हया उनकी बिंदी में हैं जो वफ़ा उनकी बंदगी में हैं जो हवा उनके करीब से गुजरी हैं मानों सबमे सुकूँ और करार इश्क का हैं मानों ये मोहब्बत उस जीस्त का हैं जीस्त यानी जीवन #neerajwrites
poonam atrey
जब जवानी की ढलान से, ज़ीस्त-ए-कारवाँ गुज़रा, ये दिल ग़लताँ हुआ , जान-ए-जाँ ,तेरी ओर से गुज़रा, धड़क उठा तब दिल मिरा ,तेरे चेहरे का नूर देखकर, मुझे इश्क़ हुआ और दिल मेरा,दर्द के हर छोर से गुज़रा, ©poonam atrey #जीस्त-ए-कारवाँ #गलतां
Rahul Shastri worldcitizens2121
Safar July 10,2019 सत्संग का अर्थ होता है गुरु की मौजूदगी! गुरु कुछ करता नहीं हैं, मौजूदगी ही पर्याप्त है। ओशो सत्संग का अर्थ
Aman Baranwal
मिट्टी का जिस्म और आग सी ख्वाहिशें, खाक होना लाजमी है, क्योंकि आदमी आखिर आदमी है! जीवन का अर्थ