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Anil Siwach

|| श्री हरि: || सांस्कृतिक कहानियां - 11 ।।श्री हरिः।। 11 - वीरता का लोभ शरद् की सुहावनी ऋतु है। दो दिन से वर्षा नहीं हुई है। पृथ्वी गीली

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|| श्री हरि: || सांस्कृतिक कहानियां - 11

।।श्री हरिः।।
11 - वीरता का लोभ

शरद् की सुहावनी ऋतु है। दो दिन से वर्षा नहीं हुई है। पृथ्वी गीली

Ruchi Rathore

जिस घर 🏡मे रहती हूँ कैसे कहू की मेरा है चीटिया🐜 कीट-पतंगे🐛 और छिपकलियां भी तो रहती है,, उधर कोने मे कुछ चूहो🐀 ने बनाया है, अपना बसेरा एक छो

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जिस घर 🏡मे रहती हूँ
कैसे कहू की मेरा है
चीटिया🐜 कीट-पतंगे🐛 और छिपकलियां भी तो रहती है,, 
उधर कोने मे कुछ चूहो🐀 ने बनाया है, अपना बसेरा
एक छोटी-सी मकडी 🕷भी जो बुन रही है जाला 🕸
बाहर बालकनी के कोने मे पल रहा है, चिडियों 🕊का परिवार
आंगन मे खिले फूलो🌺🌻 पर मंडराती तितलियां और भौरें 🐝गुनगुनाने हुए चले आते हैं, घर के अंदर तक
अरे हाँ, एक तोता 🐦🐦 भी है, जो कई सालो से घर मे रहता है..! 
 फिर कैसे कहू की,,, 🏡"घर मेरा है"..! जिस घर 🏡मे रहती हूँ
कैसे कहू की मेरा है
चीटिया🐜 कीट-पतंगे🐛 और छिपकलियां भी तो रहती है,, 
उधर कोने मे कुछ चूहो🐀 ने बनाया है, अपना बसेरा
एक छो

सुसि ग़ाफ़िल

सफर में देखता रहा खिड़कियों से बाहर मैं अंधेरा होने तक जब अंधेरा हुआ बाहर तो मैं अपने अंदर देखने लगा

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बाहर के अंदर मैं था 
मेरे अंदर नजारा बाहर का .....  सफर में 
देखता रहा 
खिड़कियों से बाहर 
मैं अंधेरा होने तक 

जब अंधेरा हुआ बाहर 
तो मैं अपने अंदर देखने लगा

यशवंत कुमार

#storytime #storytelling उल्लू और बाज बात बहुत पुरानी है। तब उल्लू और बाज दोनों सगे भाई थे। जब वो बहुत छोटे थे और उनके पंख भी नहीं उगे थ

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उल्लू और बाज (Read in Caption) #storytime #storytelling  

उल्लू और बाज

बात बहुत पुरानी है। तब उल्लू और बाज दोनों सगे भाई थे। जब वो बहुत छोटे थे और उनके पंख भी नहीं उगे थ

Ajay Amitabh Suman

ये कविता एक माँ के प्रति श्रद्धांजलि है । इस कविता में एक माँ के आत्मा की यात्रा स्वर्गलोक से ईह्लोक पे गर्भ धारण , बच्ची , तरुणी , युवती ,

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 ये कविता एक माँ के प्रति श्रद्धांजलि है ।  इस कविता में एक माँ के आत्मा की यात्रा स्वर्गलोक से ईह्लोक पे गर्भ धारण , बच्ची , तरुणी , युवती ,
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