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निर्भिड पत्रकार

मनपुर्वक शुभेच्छा

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मनपुर्वक शुभेच्छा मनपुर्वक शुभेच्छा

Malhar Shelar

विजयादशमी च्या हार्दिक मनःपूर्वक शुभेच्छा!! #poem #अक्षर

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ह्या विजयाला रामा, तू असा वार कर.. 
आमच्या उरात पोसला, वाढला रावण ठार कर.. 

#अक्षर विजयादशमी च्या हार्दिक मनःपूर्वक शुभेच्छा!!

Kishor Rokade

राजमाता जिजाऊ जन्मदिनाच्या मनपुर्वक शुभेच्छा.! जय शिवराय

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Swarup Sawant

रंगभूमी दिनाच्या तुम्हा सर्व कलाकारांना मनःपूर्वक शुभेच्छा

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*_मराठी रंगभूमी दिन_* 

आम्हा कलाकारांच्या हक्काचा 
एकच तर दिवस असतो,
म्हणूनच तर हा सुवर्णदिवस आमच्या 
नेहमी स्मरणात राहतो. 

नाट्यसृष्टिच्या इतिहासाची पाने 
नव्यारुपात लिहीली जातात, 
मनाच्या एका कप्प्यात या गोड आठवणी 
जपुन ठेवल्या जातात. 

पुन्हा एकदा सजतो रंगमंच एका 
नव्या रूपात एका नव्या रंगात, 
नवरसांनी बहरतो श्रृंगार पुन्हा एकदा 
त्याच आपल्या ढंगात.

जस आई मुलाच नात तशीच नाळ 
जोडली आमची रंगभूमीशी,
सदैव राहू प्रामाणिक आम्ही 
आमच्या या कर्मभूमीशी.

मराठी रंगभूमी दिन 
उन्नत उज्ज्वल प्रगतशील होवो, 
प्रत्येक कलाकार हा सर्वांच्या 
नेहमी स्मरणात राहो.

- स्वरुप सावंत 
भांडुप कलाकार कट्टा रंगभूमी दिनाच्या तुम्हा सर्व कलाकारांना मनःपूर्वक शुभेच्छा

Sushma Ashok Kumar

# भाव पूर्वक श्रद्धांजलि #कविता

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भावपूर्वक श्रद्धांजलि।                 


शायद आज किसी के घर चूल्हा ना जला होगा,
शायद आज किसी के आंखों का सपना अधूरा होगा,
शायद आज किसी ने मिटाई होगी अपनी सुहाग की निशानी,
शायद आज किसी की ख़तम हो गई होगी कहानी।

शायद आज किसी के सर से साया छीन गया होगा,
शायद आज कोई जल बिन मीन हुआ होगा,
शायद आज किसी की पिता के निकले होंगे आर्त पुकार,
शायद आज किसी ने भाग्य के लेखा को किया होगा स्वीकार।

कितना कठिन हुआ होगा खुद को समझाना,
की जो कल तक अपना था, वो बन गया है बेगाना,
इसी को जीवन कहते है, ये जीवन का है फ़साना,
कल तक जो आबाद था, वो उजड़ गया है आशियाना।

आज मेरे अल्फ़ाज़ मेरे साथ नहीं दे रहे,
मेरे नैनों से अविरल आंसू के धारा है बहे,
ना जाने कैसे उन्होंने अपने दुख होंगे सहे,
इस विकट परिस्थिति में हम कहे तो क्या कहे!

कैसा खूनी मंज़र होगा,गालवान की घाटियों में,
जब लड़ते लड़ते वीरों ने,अपनी आहुति दी होगी,
अंतिम पलों में उन्हें सबकी याद तो अाई होगी,
पर कर्तव्य के लिए उन्होंने जान गवांई होगी।

देश का कर्ज़ चुका गए वो जांबाज़,
आज हर भारतीयों को है उन पर नाज़,
पर उनके खुद के घरौंधों पर गिरी है गाज़,
फ़िर भी उन्होंने बनाए रखा भारत माता की लाज।

सत् सत् नमन है उन वीरों को,
जो अपनी मातृभूमि के लिए मिट गए,
 भावपूर्वक श्रद्धांजलि अर्पित है उन चरणों में,
जो अपने भाग्य को मिटा कर, देश के लिए समर्पित हो गए। # भाव पूर्वक श्रद्धांजलि
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