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2016

# ख़्वाहिशों की झालर #

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Prakash Dhaka

#झालर ##

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Shyamal Kumar Rai

#ख्वाबों के झालर

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रात की सिलवटों मे 
रौशनी के दाने हैं
सितारे छानकर अब
जुगनू बनाने हैं
खिड़कियों पर गाढ़ा अंधेरा घना है
टिमटिमाते ख्वाबों के झालर लगाने हैं। #ख्वाबों के झालर

Sarnam Singh7

*तुम लाख झालर लगा लो अपने घरों की दीवारों पर,* *रोशनी तो हमारे आने से होगी...!!!* Aadarsha singh Monika Charu Gangwar Ritika Shaw Pratib

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*क्या यकीन करना गैरों पर,*

*जब चलना ही है खुद के पैरों पर...!!!* *तुम लाख झालर लगा लो अपने घरों की दीवारों पर,*

*रोशनी तो हमारे आने से होगी...!!!* 


Aadarsha singh Monika Charu Gangwar Ritika Shaw Pratib

AK__Alfaaz..

#पूर्ण_रचना_अनुशीर्षक_मे.. #क्रोशिया अगहन का महिना, ​शुरू हो चला, ​आज, ​दिन के सारे काम निपटा के, #yqdidi #yqhindi #yqquotes #bestyqhindiquotes

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अगहन का महिना,
​शुरू हो चला,
​आज,
​दिन के सारे काम निपटा के,
​त्रिपता,
​जा बैठी,
​दरीचे से झाँकती,
​गुलाबी सर्दी की,
​सुनहरी धूप मे,
अपनी साँसों के,
​​आसमानी ऊन के लच्छे लिए, #पूर्ण_रचना_अनुशीर्षक_मे..

#क्रोशिया

अगहन का महिना,
​शुरू हो चला,
​आज,
​दिन के सारे काम निपटा के,

Rishabh Arya

हैरत में है वो रौशन झालर,मुझको देखकर इतना अँधेरा क्यूं बिखरा है इसके अंदर? अब जलते दीये मिलकर के पूछेंगे मुझ से, बोल न , किस ने आग लगा #Diwali #Diya #hurt #alone #शायरी

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अब जलते दीये मिलकर के पूछेंगे मुझ से,
बोल न,किस ने आग लगाई है तेरे अंदर? हैरत में है वो रौशन झालर,मुझको देखकर
इतना  अँधेरा  क्यूं  बिखरा  है इसके अंदर?
अब  जलते दीये मिलकर के पूछेंगे मुझ से,
बोल  न , किस ने आग लगा

Satish Kumar Meena

गरीब किसान की व्यथा :--------------- ऐ! हरियाली के बीच रांझणा, पूंछ मरोड़े बैलो की। सांझ पड़े मैं बात बताऊं, घास फूस के महलों की।। जब चंदा

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गरीब किसान की व्यथा :---------------

ऐ! हरियाली के बीच रांझणा,
पूंछ मरोड़े बैलो की।
सांझ पड़े मैं बात बताऊं,
घास फूस के महलों की।।

जब चंदा

Rakesh frnds4ever

#उलझन इस बात की है कि,,, हमें ...... उलझन किस बात की है अपनों से दूरी की या फिर किसी #मज़बूरी की खुद की नाकामी की या किसी परेशानी की दुनि #जीवन #मनुष्य #दुनिया #ज़िन्दगी #ज़िन्दगी #रिश्तों #धरती #AdhureVakya

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उलझन इस बात की है कि   हमें .......उलझन किस बात की है
अपनों से दूरी की 
या फिर किसी मज़बूरी की
खुद की नाकामी की 
या किसी परेशानी की
दुनिया के झमेले की या  मन के अकेले की
पैसों की तंगी की 
या जीवन कि बेढंगी की
रिश्तों में कटाक्ष की 
या फिर किसी बकवास की
दुनिया की वीरानी की या फिर किसी तनहाई की
अपनी व्यर्थता की 
या ज़िन्दगी की विवशता की
खुद के भोलेपन की 
या फिर लोगो की चालाकी की
अपनी खुद की खुशी की 
या दूसरों की चिंता की
खुद की संतुष्टि की
 या फिर दूसरों से ईर्ष्या की
खुद की भलाई की
 या फिर दूसरों की बुराई की
धरती के संरक्षण की या फिर इसके विनाश की
मनुष्य की कष्टता की
 या धरती मां की नष्टता की
मानव की मानवता की 
या फिर इसकी हैवानियत की
बच्चो के अपहरण की या बच्चियों के अंग हरण की
प्यार की या नफरत की ,,जीने की या मरने कि,,,
विश्वाश की या धोखे की,, प्रयास की या मौके की
बदले की या परोपकार की,,, अहसान की या उपकार की
,,,,,,ओर ना जाने किन किन सुलझनों या उलझनों
 या उनके समस्याओं या समाधानों 
या उनके बीच की स्थिति या अहसासों की हमें उलझन है,,,
की हम किस बात की उलझन है..==...........

rkysky frnds4ever #उलझन इस बात की है कि,,,
हमें ......
उलझन किस बात की है
अपनों से दूरी की 
या फिर किसी #मज़बूरी की
खुद की नाकामी की 
या किसी परेशानी की
#दुनि

आलोक कुमार

आज की पीढ़ी की सच्चरित्र की हक़ीक़त

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बस यूँ ही चलते-चलते .........
जरा सोचिए कि आजकल हमलोग खुद को बेहतर बनाने के लिए कौन-कौन से गलत/अभद्र नुस्खें अपनाते जा रहे हैं. ना ही उस नुस्खें के चरित्र, प्रकरण एवं उसके कारण दूसरे मनुष्य, आसपास, समाज, देश व आगामी पीढ़ी पर असर का ख्याल रख रहें हैं, न ही ख़यालों को किसी को समझने का मौक़ा दे रहे हैं. बस अपने ही धुन में उल्टी सीढ़ी के माध्यम से अपने आप को आगे समझते हुए सचमुच में बारम्बार नीचे ही चलते जा रहे है. तो जरा एक बार फिर सोचिए कि उल्टी सीढ़ी उतरने और सीधी सीढ़ी चढ़ने में क्रमशः कितनी ऊर्जा, शक्ति और समय लगती होगी. यह भी पता चलता है कि आज की पीढ़ी की ऊर्जा और शक्ति का किस दिशा में उपयोग हो रहा है और शायद यही कारण है कि आज का "गंगु तेली" तो "राजा भोज" बन गया और "राजा भोज", "गंगु तेली" बन कर सब गुणों से सक्षम रहने के बावज़ूद नारकीय जीवन जीने को मजबूर है. यही हकीकत है हम अधिकतर भारतवासियों का...... आगे का पता नहीं क्या होगा. शायद भगवान को एक नए रूप में अवतरित होना होगा. आज की पीढ़ी की सच्चरित्र की हक़ीक़त

Raj

# इंसान की सफलता की# #विचार

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