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kuwar Dev Thakur
जो कश्मीरी पंडितों के साथ खड़े नहीं थे, वह आज रोहिंग्या मुसलमानों के साथ खड़े है, शायद कश्मीरी पंडित से ज्यादा वह रोहिंग्या मुसलमान हमारे है, 15 मिनट पुलिस फोर्स हटाने की धमकी देने वालों से जाकर पूछ, क्या 5000 साल पुराने इतिहास के पन्ने इस देश से जुड़े तुम्हारे हैं, लुटेरे बाबर के लिए लड़ेंगे लेकिन कोई नहीं लेगा राम का नाम, तू भी करेगा मैं भी करूंगा इसी देश में त्राहिमाम त्राहिमाम त्राहिमाम....... #त्राहिमाम
Aarv;
टूटे दिल वालों के ज़ख्म भरे या ना भरे ओजोन परत के वो होल तो कुछ हद तक भर ही जायेंगे कुछ प्रदूषण कम की वजह से कुछ मनुष्यो के दर्द और गम की वहज से ज़ख्म दो प्रकार से भरते हैं.. हैं न एक मरहम से.. और दूसरा ज़ख्म देने वाले के दर्द से ! क्रिया प्रतिक्रिया शायद लागू हो रहा है! प्रकृति प्रैक्टिकल कर रही है! #🙏त्राहिमाम...
Deepak Sharma
रूप गजानन धर के तेरा नाश करेगा "गजवंशज" ज्यों मानवता का नाश करें तू, तेरा भी विनाश करेगा गजवंशज लज्जित मानवता आज लज्जित वो विधाता है क्यों रचा संसार ये मैने सोच के वो पछताता है त्राहिमाम विधाता
Akib Javed
गूंज यूँ त्राहिमाम की हो रही चारो ओर कर्मचारी लाचार हैं चुनावों पर है जोर। ©आकिब जावेद गूंज यूँ त्राहिमाम की हो रही चारो ओर कर्मचारी लाचार हैं चुनावों पर है जोर। #akib #दोहा #कविता
निर्जला गुप्ता
प्रेम के बदले यदि प्रेम की मांग नही होती तो,जीवन में इतनी त्राहिमाम नही मची होती। ©Nirjala Gupta #Likho प्रेम के बदले यदि प्रेम की मांग नही होती तो,जीवन में इतनी त्राहिमाम नही मची होती। #जिन्दगी
Saket Ranjan Shukla
हे त्रिदेव, त्राहिमाम आग उगले है आकाश, हवाएँ नसिकाएँ जलातीं हैं, पीड़ा में है समस्त संसार, माता पृथ्वी भी घबरातीं हैं, पेड़ों से प्राण सोखता ये तापमान भी बढ़ता जाता है, पशु-पंछी व जन-जीवन का संतुलन बिगड़ता जाता है, जलहीन हुए हैं तालाब, कुओं में भी अमृत की कमी है, शुष्क हुए हैं अधर सभी के, केवल नयनों में शेष नमी है, मेघों की बाट जोहते कृषक जन नितप्रति अश्रु बहाते हैं, फसलों को बिन वर्षा जलते देख स्वयं भी जलते जाते हैं, दिनों की राहत छीन गई, रात्रि में भी निंद्रा निषेध हो जैसे, सूर्य का ये ग्रीष्मव्यूह हम भुवासियों के लिए अभेध हो जैसे, हाथ थकते, पंखा झलते तत्पश्चात भी स्वेद से बदन तर है, लू चल रही है बाहर, घर के अंदर भी व्यापत उसका डर है, कोयल की कूक गुम है बागों से, पपीहरे भी तो लुप्त हैं कहीं, हलचल स्वभाव अपना छोड़कर, ऋतुएँ भी मानो सुप्त हैं कहीं, सूर्यदेव के बढ़ते जाते ताप से त्रस्त हुआ अब भूमंडल सारा है, इंद्रदेव के आगे भी कर जोड़ते, प्रार्थना करते अंतर्मन ये हारा है, चढ़ते हर पहर के साथ, व्याकुलता भी बढ़ती जाती है हर क्षण में, आस लगाए बैठे हैं हम जन सब कि मिले आस कब किस कण में, हर व्यथित मन की व्यथा सारी हम आपको भेंट में चढ़ाने आए हैं, हे त्रिदेव, त्राहिमाम! हम अनुयायी आपके, आपकी शरण में आए हैं। ©Saket Ranjan Shukla हे त्रिदेव, त्राहिमाम..! . ✍🏻Saket Ranjan Shukla All rights reserved© . Like≋Comment Follow @my_pen_my_strength .
Pnkj Dixit
"लोग" धर्म से विमुख होकर अधर्म कर रहे हैं लोग जो जैसा कर रहा है वैसा भर रहें है लोग चोर उचक्कों की पंचायत लग रही गली चौराहों पर त्राहिमाम त्राहिमाम पुकार रहे सज्जन संस्कारी धवल लोग । २३/०६/२०१७ 🌷👰💓💝 ...✍ कमल शर्मा'बेधड़क' "लोग" धर्म से विमुख होकर अधर्म कर रहे हैं लोग जो जैसा कर रहा है वैसा भर रहें है लोग चोर उचक्कों की पंचायत लग रही गली चौराहों पर
Pravesh Kumar
शीर्षक - त्राहिमाम हे दयानिधि। हे संपूर्ण जगत के स्वामी, कण-कण के तुम वासी हो। मैं हूँ एक इकाई और तुम, अजर, अमर अविनाशी हो। भाग्यवान भी तुम हो माधव, तुम ही हो भगवान स्वयम्। दो माताओं का सुख भोगो, तुमने लिखा विधान स्वयं। पूरा गीत कैप्शन में पढ़ें।🙏 हे संपूर्ण जगत के स्वामी, कण-कण के तुम वासी हो। मैं हूँ एक इकाई और तुम, अजर, अमर अविनाशी हो। भाग्यवान भी तुम हो माधव तुम ही हो भगवान स्वयम
Anita Saini
ऋषि श्रंग का "पुत्र कामेस्टि यज्ञ" प्रसाद फलीभूत हुआ अयोध्यापति को पुत्र प्राप्ति से जनमानस अभिभूत हुआ! श्री हरि विष्णु के सातवें दिव्य रूप का पृथ्वी पर अवतार हुआ त्राहिमाम त्राहिमाम धरा पर राम जन्म से दुष्टों में हाहाकार हुआ रामनवमी की हार्दिक शुभकामनाएँ🙏❤️❤️🚩🚩 ऋषि श्रंग का "पुत्र कामेस्टि यज्ञ" प्रसाद फलीभूत हुआ अयोध्यापति को पुत्र प्राप्ति से जनमानस अभिभूत हुआ! श्री हरि विष्णु के
Pravesh Kumar
हे संपूर्ण जगत के स्वामी, कण-कण के तुम वासी हो। मैं हूँ एक इकाई और तुम, अजर, अमर अविनाशी हो। भाग्यवान भी तुम हो माधव,तुम ही हो भगवान स्वयम्। दो माताओं का सुख भोगो,तुमने लिखा विधान स्वयं। पूरी कविता कैप्शन में पढ़ें।🙏🙏🙏 हे संपूर्ण जगत के स्वामी, कण-कण के तुम वासी हो। मैं हूँ एक इकाई और तुम, अजर, अमर अविनाशी हो। भाग्यवान भी तुम हो माधव तुम ही हो भगवान स्वयम्