शुक्ल पक्ष की.. अर्ध रात्रि,,,चतुर्दशी.. जन्म हुआ,,,पूर्णिमा का.. गौर सुवर्ण.. उजला-उजला तन.. जैसे,,,दुग्ध लेपित.. सुंदर सौंदर्य,,,चितवन.. किन्तु,,,जन्म था वो एक नारी का.. कृष्ण पक्ष की.. अँधियारी,,,एकादशी... घनघोर छटा,,,जब छायी.. जन्मी,,,कृष्ण रंग में रंगी.. अमावस,,,धरती पर आयी.. कृष्ण कान्ति,,,कृष्ण है केष.. लगती जैसे,,,चपल दामिनी का मेल.. किन्तु,,,जन्म था वो एक नारी का.. माँ "रात्रि" बिलख पड़ी.. जन्मी दो संतानें... वो भी,,,,,,,"बेटी" -AK__Alfaaz.. बेटी गौर वर्ण हो या श्याम वर्ण... माँ के लिए एक समान होती हैं दोनों... किन्तु समाज के लिए नहीं...🙏🙏 ** Pic credit -- Pinterest Neetu Sinha मेरी प्यारी माँसी माँ Best YQ Hindi Quotes #bestyqhindiquotes