दिल का फ़साना मुत्तहिद ज़हन के खालिपन ने उकेरी तस्वीर ए किर्तास, बदलें बदलें से हाव-भाव उनके बदल - बदले अहसास, तस्सवुर में तस्वीर उनकी इस कदर दिल के वो हैं खास, बेखुदी में गाफिल होकर भी उन्हीं के हक में अन्फास, मुक्कमल जहां ए आरज़ू की चाह वो खवाब ओ अहसास, उनकी यादों ही मेरी पूंजी यही मेरी दफीना ए शनास, आब्शार ए इश्क बह रहा, घड़कने हो रही हैं बदहवास, दिल का फ़साना कहे कैसे सांसे खो रही हैं होशोहवास, बहक जातें है उनकी तस्वीर से बातें कर हो जातें है उदास, गाफिल 'रोज़ी' संगदिल का हुस्न ऐसा बनाया अक्कास। #कोराकाग़ज़ #विशेषप्रतियोगिता #दिलकाफ़साना #kksc21 #collabwithकोराकाग़ज़ #रोज़ी_संबरीया #yqbaba #yqdidi