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जंतुओं और पक्षियों की संवेदना, प्रकृति की समझ व त

जंतुओं और पक्षियों की संवेदना, 
प्रकृति की समझ व तर्क शक्ति,, मनुष्य के संवेदना, 
प्रकृति की समझ व तर्क शक्ति से कई गुना अधिक होती हैं। प्रकृति ने उन्हें असीम शक्ति व क्षमता दी है 
जिसका वे केवल अपने उपयोग के लिए प्रयोग करते हैं न कि किसी को हानि पहुंचाने के लिए। 
अपने पूर्वजों से कई बार आपने सुना होगा कि बाढ़ आने से पहले फला जानवर अपने बच्चों को उठाकर सुरक्षित स्थान पर ले जा रहा था। 
इसका मतलब इन जीव जंतुओं व पक्षिओं में अद्भुद क्षमता होती है जिसे प्रकृति ने उन्हें उपहार स्वरूप दिया है जो मनुष्य की समझ से परे है।

©Sujeet Banshiwal
  #GarajteBaadal जंतुओं और पक्षियों की संवेदना, 
प्रकृति की समझ व तर्क शक्ति,, मनुष्य के संवेदना, 
प्रकृति की समझ व तर्क शक्ति से कई गुना अधिक होती हैं। प्रकृति ने उन्हें असीम शक्ति व क्षमता दी है 
जिसका वे केवल अपने उपयोग के लिए प्रयोग करते हैं न कि किसी को हानि पहुंचाने के लिए। 
अपने पूर्वजों से कई बार आपने सुना होगा कि बाढ़ आने से पहले फला जानवर अपने बच्चों को उठाकर सुरक्षित स्थान पर ले जा रहा था। 
इसका मतलब इन जीव जंतुओं व पक्षिओं में अद्भुद क्षमता होती है जिसे प्रकृति ने उन्हें उपहार स्वरूप दिया है जो मनुष्य की समझ से परे है।

#GarajteBaadal जंतुओं और पक्षियों की संवेदना, प्रकृति की समझ व तर्क शक्ति,, मनुष्य के संवेदना, प्रकृति की समझ व तर्क शक्ति से कई गुना अधिक होती हैं। प्रकृति ने उन्हें असीम शक्ति व क्षमता दी है जिसका वे केवल अपने उपयोग के लिए प्रयोग करते हैं न कि किसी को हानि पहुंचाने के लिए। अपने पूर्वजों से कई बार आपने सुना होगा कि बाढ़ आने से पहले फला जानवर अपने बच्चों को उठाकर सुरक्षित स्थान पर ले जा रहा था। इसका मतलब इन जीव जंतुओं व पक्षिओं में अद्भुद क्षमता होती है जिसे प्रकृति ने उन्हें उपहार स्वरूप दिया है जो मनुष्य की समझ से परे है।

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