कितना बड़ा नासमझ था मैं साहेब कि तेजाब में उल्फत_ए_अंगार सुलगाने निकला अरे सुक्र_ए_खुदा जो तूने जिस्मानी ललक_ए_ईश्क को दर्शा दिया तसव्वुर _ए_अक्श अक्श में #ईश्क़ #दर्द_ए_इश्क़ #brokenheart #yqdidi #kunu