ना करो.... आओ सामने, आँखें दो चार करो ना रखो दिल में, अपने सब छिपाकर.... मिल कर, अपने दिल की बात तुम करो तुम्हें छुप छुपकर हमें देखते, तड़पता है हमारा दिल भी.... हमारी बेचैनियों को, तुम भी तो कुछ समझो ♥️ Challenge-604 #collabwithकोराकाग़ज़ ♥️ इस पोस्ट को हाईलाइट करना न भूलें :) ♥️ विषय को अपने शब्दों से सजाइए। ♥️ रचना लिखने के बाद इस पोस्ट पर Done काॅमेंट करें।