White •§ विचार §• झुक-झुककर सीधा खड़ा हुआ, अब फिर झुकने का शौक नहीं, अपने ही हाथों रचा स्वयं, तुमसे मिटने का खौफ़ नहीं, तुम हालातों की भट्टी में, जब-जब भी मुझको झोंकोगे, तब तपकर सोना बनूंगा मैं, तुम मुझको कब तक रोकोगे, तुम मुझको कब तक रोक़ोगे ।। •§ शुभम राज तिवारी §• ©Shubham Raj Tiwari #good_night KK क्षत्राणी Pyare ji Dhyaan mira