दरख़्तो पर बैठे परिंदे, कुछ यूं ही,गुनगुनाते हैं इस कदर के छूटा था साथ यही पर,एक काफ़िर का,इबादत के डगर में पलकों पर बहते तारें,फिर तब कुछ ,कह देते हैं इस नफ़र के घूटा था दम कहीं तो,एक शाकिर का,मुरव्वत के नज़र में #Nojoto #Hindi #English #shayari #love #life