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सामाजिक न्याय के मसीहा, #आरक्षण_के_जनक बहुजानों क

सामाजिक न्याय के मसीहा,
#आरक्षण_के_जनक  बहुजानों के उद्धारक, वर्ण व्यवस्था पर प्रहार कर, जातिवादी व्यवस्था के प्रखर विरोधी, #आरक्षण द्वारा  सभी को समान अवसर प्रदान करने की शुरुआत करने वाले 
वंचितों के सच्चे मसीहा,जिन्हें बाबासाहेब 
"The Pillar of social Democracy" कहा इन्हीं की वजह से डॉ आंबेडकर जी को हम #भारतरत्न और  #महामानव के रूप में देखते हैं... ऐसे महान #समाज_सुधारक
#छत्रपति_शाहूजी_महाराज जी की जयंती पर शत्-शत् नमन् तथा आप सभी साथियों को हार्दिक बधाई🌹🌹💐💐 🎂🙏

राजाओं में सबसे अधिक पढ़े-लिखे राजा आरक्षण के जनक छत्रपति शाहूजी महाराज थे।
शाहूजी महाराज की शिक्षा विदेशो में हुई थें। 1903 में 'कैम्ब्रिज यूनिवर्सिटी' से उन्हें 'L.L.D' की उपाधि प्रदान हुई। वे शिक्षा के महत्व से अच्छी तरह परिचित थें। उन्होंने अपना सारा जीवन बहुजनो  की उन्नति में लगा दिया। दलितो और पिछड़ो के लिए विद्यालय और छात्रावास भी बनवाये। शाहूजी महाराज राष्ट्रपिता ज्योतिराव फूले के आंदोलन से प्रभावित थें। उनके आंदोलन अपने जीते जी आगे बढ़ाया। जब बाबा साहेब डा० भीमराव अम्बेडकर बड़ौदा नरेश की छात्रवृति पर पढ़ने के लिए विदेश गए लेकिन छात्रवृत्ति बीच में ही खत्म हो जाने के कारण उन्हे वापस भारत आना पड़ा l  इसकी जानकारी जब शाहू जी महाराज को हुई तो महाराज खुद बाबा साहब भीमराव जी का पता लगाकर मुम्बई की चाल में उनसे मिलने पहुंच गए और आगे की पढ़ाई जारी रखने के लिए उन्हें सहयोग दिया। 26 जुलाई 1902 को बहुजनो के लिए 50% आरक्षण लागू किया।  ऐसे महाराज की जयंती पर उन्हें कोटि-कोटि नमन।🙏🙏 , Shahu Ji Maharaj Ko Koti Koti Naman

#citysunset
सामाजिक न्याय के मसीहा,
#आरक्षण_के_जनक  बहुजानों के उद्धारक, वर्ण व्यवस्था पर प्रहार कर, जातिवादी व्यवस्था के प्रखर विरोधी, #आरक्षण द्वारा  सभी को समान अवसर प्रदान करने की शुरुआत करने वाले 
वंचितों के सच्चे मसीहा,जिन्हें बाबासाहेब 
"The Pillar of social Democracy" कहा इन्हीं की वजह से डॉ आंबेडकर जी को हम #भारतरत्न और  #महामानव के रूप में देखते हैं... ऐसे महान #समाज_सुधारक
#छत्रपति_शाहूजी_महाराज जी की जयंती पर शत्-शत् नमन् तथा आप सभी साथियों को हार्दिक बधाई🌹🌹💐💐 🎂🙏

राजाओं में सबसे अधिक पढ़े-लिखे राजा आरक्षण के जनक छत्रपति शाहूजी महाराज थे।
शाहूजी महाराज की शिक्षा विदेशो में हुई थें। 1903 में 'कैम्ब्रिज यूनिवर्सिटी' से उन्हें 'L.L.D' की उपाधि प्रदान हुई। वे शिक्षा के महत्व से अच्छी तरह परिचित थें। उन्होंने अपना सारा जीवन बहुजनो  की उन्नति में लगा दिया। दलितो और पिछड़ो के लिए विद्यालय और छात्रावास भी बनवाये। शाहूजी महाराज राष्ट्रपिता ज्योतिराव फूले के आंदोलन से प्रभावित थें। उनके आंदोलन अपने जीते जी आगे बढ़ाया। जब बाबा साहेब डा० भीमराव अम्बेडकर बड़ौदा नरेश की छात्रवृति पर पढ़ने के लिए विदेश गए लेकिन छात्रवृत्ति बीच में ही खत्म हो जाने के कारण उन्हे वापस भारत आना पड़ा l  इसकी जानकारी जब शाहू जी महाराज को हुई तो महाराज खुद बाबा साहब भीमराव जी का पता लगाकर मुम्बई की चाल में उनसे मिलने पहुंच गए और आगे की पढ़ाई जारी रखने के लिए उन्हें सहयोग दिया। 26 जुलाई 1902 को बहुजनो के लिए 50% आरक्षण लागू किया।  ऐसे महाराज की जयंती पर उन्हें कोटि-कोटि नमन।🙏🙏 , Shahu Ji Maharaj Ko Koti Koti Naman

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