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आम से खास हुई औरत, जब आम से अलग होती जाती हैं , मा

आम से खास हुई औरत,
जब आम से अलग होती जाती हैं ,
मापी जाती हैं,  चारित्रिक  मापमापदंड में,
बांधी जाती हैं, समय के पाबंद में,
रखी जाती हैं , पड़ोसियों की नजरबंद में,
पाई जाती हैं, मुहल्ले की खबर मे,
और गिराई जाती हैं वो ,अपनो की ही  नजर में,
पर हार नही मानती  वो  इस संघर्ष में,
ये शक्ति होती हैं , नारी सृजन में सामाजिक सृजन में,।।

©पूनम रावत #नारी
#नारीशक्ति 
#नारीआत्मसम्मान