तारीफ़ें क्या करें उनकी जो ऐसा हुनर रखते हैं चाल है चीते की और बाज़ की नज़र रखते हैं ठिकानों का क्या उनके कब कहाँ मिल जायें शामें लखनवी उनकी दिल्ली की सहर रखते हैं कहर टूटे उनका तो बस क़यामत करीब समझो आँखों में गुरूर है भरा और जेब में तेवर रखते हैं जाने क्यों भटका किये उन्हें ढूंढ़ने की खातिर कूचा-ए-दिल में ही तो वो अपना घर रखते हैं छुपाना नहीं उनसे और बताना भी जरूरी नहीं मशगूल खुद में होकर भी सबकी खबर रखते हैं रखना सहेज के कई परतों में छुपाकर उनको उड़ ना जाये कहीं वो परिंदों से पर रखते हैं इस महफ़िल में भी दीवाने कई हैं उनके हुनर के 'मौन' कर दे उनके अलफ़ाज़ इतना असर रखते हैं ये शख्स मिल जाये तो बताइयेगा जरूर.... #cheetah #baaz #nazar #hunar #maun #yqbaba #yqdidi