#OpenPoetry अब मिज़ाज़ उसका कुछ पहले सा नहीं लगता, अब वो बारिशों में छाता निकाल लेती है। ©शमशेर जी. 'साहिल' #barish #rain #मिज़ाज #शमशेर_जी_साहिल #Shamsher_G_Sahil #GhazalOfSahil #BestPoetryEver #LoveShayri #HindiShayri #RomanticShayri