अँधेरे अकेले घर मे,अंधेरे काली रात। घर बालो से लुक - छिप कर ,आज उनसे मेरी मुलाकात साँसे गुम है धड़कने मंद है की कोई पहचान ना ले मन के हालात। बारिस की रात है तनहाई का साथ है घर वालों से लूक- चुप कर,आज उनसे मेरी मुलाकात है। एक मुलाकात