रुक जाना फितरत नहीं मेरी, सारी बंदिशों से आज़ाद हूं मैं, ज़माना क्या मिटाएगा शक्सियत मेरी, बर्बाद था बर्बाद हूं मैं.... #ज़माना #आज़ाद #बर्बाद #फितरत #शक्सियत #शायर_ए_बदनाम