जब ज़रूरत हो तुम चले आना दिल के बाहर कतार थोड़ी है, हरे रखती है जख्म दुनियाँ भी, तुमपे दारोमदार थोड़ी है ATBAF ABRAK ©Anant Nag Chandan जब ज़रूरत हो तुम चले आना दिल के बाहर कतार थोड़ी है, हरे रखती है जख्म दुनियाँ भी, तुमपे दारोमदार थोड़ी है ATBAF ABRAK