ठोकरें खाता हूं पर 'शान' से चलता हूँ... मैं खुले आसमान के नीचे सीना 'तान' के चलता हूँ... मुश्किलें तो 'साज़' है ज़िन्दगी का... उठूंगा गिरूंगा फिर उठूंगा... और आखिर में.... जीतूंगा मैं ही ये 'ठान' के चलता हूँ... #Dj_main