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मैं जब आता हूँ तेरे करीब, तो लगता अच्छा है मेरा नस

मैं जब आता हूँ तेरे करीब,
तो लगता अच्छा है मेरा नसीब।
तुम्हें देख कर ही मैं जीता हूँ,
अपनी अलग दुनिया खुद बसा लेता हूँ।
यकीन ना हो तो देखो मेरी आँखों में,
खुद को महसूस करो मेरी धड़कनो में।
मैं जानता हूँ तेरे लिये मेरे जज्बात की कोई कीमत नहीं,
पर मेरा ये दिल बेकरार है तेरे लिये,
और तुम बेपरवाह हो,
हाँ तेरी बात और है,
हाँ तेरी बात और है।
Anand Prakash 6th poetry

#HappyDaughtersDay2020
मैं जब आता हूँ तेरे करीब,
तो लगता अच्छा है मेरा नसीब।
तुम्हें देख कर ही मैं जीता हूँ,
अपनी अलग दुनिया खुद बसा लेता हूँ।
यकीन ना हो तो देखो मेरी आँखों में,
खुद को महसूस करो मेरी धड़कनो में।
मैं जानता हूँ तेरे लिये मेरे जज्बात की कोई कीमत नहीं,
पर मेरा ये दिल बेकरार है तेरे लिये,
और तुम बेपरवाह हो,
हाँ तेरी बात और है,
हाँ तेरी बात और है।
Anand Prakash 6th poetry

#HappyDaughtersDay2020