बेवजह एक उदासी सी आज क्यूं छाई है। यादों मे किसी की, यूं मैं कहां गुम सी होकर, अपने ही आप से रूठ सी गई हूं । ये कैसी शामत आई है। जिसे भुला कर भी न भुला पाऊं जो अपना होकर भी कभी अपना नही ये कैसी भटक सी गई जिंदगी जिसमे सुकून होते हुए भी सुकून नही आखों में छुपा आसूं दिल में अनजाना दुःख लिए मुस्कुरा रही हूं मैं (आज-कल) ©__aastha__ #Hansti_aankhon_mei_aansu #Yaad #BreakUp #SAD #Poetry #Hindi #hindikavita