काश हमें भी पंख होता जब जी करता उड़ जाते कभी इस नगर कभी उस नगर कभी इस डाली कभी उस डाली खिलखिलाते, मुस्कुराते, हवा के झोंकों में झूल जाते..... ना कोई तमन्ना होती ना कोई ख्वाहिश होती जब चलते मस्त पवन के झोंखे हम उन झोंकों में खो जाते ना दुनिया की चिंता होती ना परवाह होता किसी का खेलते ,झूमते, गाते , मुस्कुराते हर गमों से दूर इस बेरहम दुनिया से दूर हम अपनी ही खुशियों में खो जाते।। Aaj itne dino baad purani diary me ye likhi hui apni poem mil gyi...I wrote this poem when I was in class 10th😊 #पंखहोतेतो #काश_ऐसा_होता #उड़नाहैमुझे #जिंदगी_का_सफर #yqdidi #yqlifequotes #yqdiary