क्यों घुटता हूँ मैं ऐ- जिंदगी लिए इतने सपने जो है हीं नही खुद मेरे अपने । ©Sarthak dev #क्यों घुटता हूँ मैं ऐ- जिंदगी लिए इतने सपने जो है हीं नही खुद मेरे अपने । #Poetry #sarthakdev #follow