तू आग ही सही मैंने तुझे छुआ तो हैं। हम दोनों के बीच कभी कुछ हुआ तो है। जलकर भी मिटी नहीं है, हस्ती मेरी, मेरे सर पर यार किसी की, दुआ तो है। फर्क पड़ता नहीं तुम हारो या मैं हारू, आखिर क्या है ज़िंदगी, एक जुआ तो है। खर्च करने को दौलत, बेशक नहीं, किसी जेब में मेरे मगर, बटुआ तो है। वो नही जानते कि क्या है, जीत का हुनर, हर किसी को लगता है सिर्फ़, कछुआ तो है। ©N Kumar #कछुआ #LostInSky