सुनो श्रोताओ मैं कविता हूँ जिसमें भावनायें मत्स्य कन्या सी लहराती बलखाती तैरती है वह सरिता हूँ ! मैं ही गन्धर्वों का गीत हूँ हृदय का संगीत हूँ जो मन को तृप्त करे वह नवनीत हूँ ! जो मत्स्य गन्ध महकाए मैं वह वनिता हूँ जो सुबह को चेहकाये मैं वही शुचिता शाम को बहकाये वह मादकता भी ! #yqbaba #yqdidi #yqdada Best YQ Hindi Quotes #yqhindipoetry #कविता_और_चिंतन #निर्झर 🗡️ कविता.... मेरी अतुकांत🙏🍁🍂 #YourQuoteAndMine